चीन में हर वर्ष भारी बारिश होती है, जिसकी वजह से जान-माल का काफी नुकसान होता है, लेकिन इस बार बारिश ने और भी ज्यादा विनाशक रूप ले लिया है। बाढ़ में फंसे लोग, पलटी पड़ी कारें और चीन की सड़कों के डरावने दृश्य पिछले तीन दिनों से सोशल मीडिया पर खूब देखने को मिल रहे हैं। चीन में 1,000 वर्षों में सबसे भारी बारिश के कारण कम से कम 33 लोगों की मौत हो गई है, वहीं आठ लोग लापता हैं। अधिकारियों ने गुरुवार को यह जानकारी दी।
प्रांतीय आपातकालीन प्रबंधन विभाग ने बताया कि मूसलाधार बारिश से हेनान प्रांत में करीब 30 लाख लोग प्रभावित हुए हैं और कुल 3,76,000 स्थानीय लोगों को सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने जलमग्न मेट्रो, होटलों और सार्वजनिक स्थानों में फंसे लोगों को बचाने के लिए सेना को तैनात किया है। सरकारी मीडिया के अनुसार, भारी बारिश से 2,15,200 हेक्टेयर से अधिक क्षेत्रफल में फसलों को नुकसान हुआ है।
इससे करीब 1.22 अरब युआन (लगभग 18.86 करोड़ अमेरिकी डॉलर) का सीधा आर्थिक नुकसान हुआ है। मौसम वैज्ञानिकों का कहना है कि बारिश का ऐसा कहर दुर्लभ ही देखने को मिलता है। भारी बारिश के कारण उत्पन्न हुई स्थिति से 1.26 करोड़ की आबादी वाली प्रांतीय राजधानी झेंगझोऊ में सार्वजनिक स्थानों और सबवे टनल में पानी भर गया है। चीन की पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (पीएलए) ने एक नदी में पानी के बढ़ते स्तर के बीच एक क्षतिग्रस्त बांध को विस्फोट से उड़ा दिया ताकि जमा पानी को दूसरी दिशा में मोड़ा जा सके। आंधी तूफान से प्रभावित शहर में कुछ स्थानों पर बिजली और पेयजल सेवाएं भी बंद हैं। कई जगह पानी भर जाने के कारण शहर में यातायात ठप पड़ गया।
चीन के दक्षिण ग्वांगदोंग प्रांत में पिछले हफ्ते से एक निर्माणाधीन स्थल की बाढ़ग्रस्त सुरंग में फंसे 13 मजदूरों की मौत हो गई है। सरकारी मीडिया ने गुरुवार को यह जानकारी दी। झुहाई शहर में शिन्गे एक्सप्रेसवे की शिजिंगशान सुरंग के निर्माणाधीन हिस्से में कुल 14 मजदूर उस समय फंस गए थे जब इस स्थान पर 15 जुलाई को बाढ़ आई थी। घटनास्थल पर 2,400 से अधिक बचाव कर्मचारियों और 200 से अधिक बचाव वाहनों को भेजा गया है। खबर में बताया गया है कि सुरंग के तंग होने और जल-विज्ञान, भू विज्ञान और मौसम संबंधी परिस्थितियों के जटिल होने से बचाव कार्य मुश्किल हो गया है