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अमेरिका में 12 हजार लोगों को मिलेगी नौकरी, जानें कैसे ..

अमेरिकी अक्सर ये आरोप लगाते रहते हैं कि विदेशी खासकर भारतीयों के चलते उनका हक मारा जाता है. पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप  ने तो इसे चुनावी मुद्दा बनाते हुए कई ऐसे नियम बनाए थे, जिससे नौकरियों में स्थानीय लोगों को प्राथमिकता मिले और दूसरे देशों के लोगों के लिए यूएस जाकर काम करना मुश्किल हो जाए. अब एक भारतीय कंपनी अमेरिका में 12 हजार लोगों को नौकरी देने जा रही है. दूसरे शब्दों में कहें तो ये कंपनी हजारों अमेरिकियों का पेट पालेगी.

अगले पांच सालों में मिलेगा मौका
इंफोसिस , टीसीएस , विप्रो और एचसीएल टेक्नोलॉजीज जैसी भारतीय आईटी कंपनियों  ने बीते कुछ सालों के दौरान अमेरिका में हायरिंग तेज की है. यह अमेरिकी नौकरियों को आउटसोर्स किए जाने की बात को गलत साबित करने का एक प्रयास है. 'बिजनेस टुडे' की रिपोर्ट के अनुसार, अब HCL अमेरिका में 12 हजार लोगों को नौकरी देने जा रही है. कंपनी इन लोगों को अगले पांच साल के दौरान नौकरी के मौके देगी.

'राइज एट HCL' प्रोग्राम का हिस्सा
12 हजार लोगों में से करीब दो हजार लोगों को अगले डेढ़ साल के भीतर एचसीएल के साथ काम करने का मौका दिया जाएगा. कंपनी ने जानकारी देते हुए कहा कि यह हायरिंग अमेरिका में स्थानीय लोगों को रोजगार देने के उसके प्रोग्राम राइज एट एचसीएल का हिस्सा है. HCL टेक्नोलॉजीज के सीईओ एवं एमडी सी विजयकुमार  ने बताया कि 'राइज एट एचसीएल' प्रोग्राम फ्रेशर्स को ट्रेनिंग देने पर फोकस्ड है. इसमें फ्रेशर्स को जॉब लर्निंग से लेकर सॉफ्ट स्किल डेवलपमेंट तक का प्रशिक्षण दिया जाता है.

इन Roles के लिए होगी Hiring
उन्होंने आगे कहा कि हम इस प्रोग्राम के जरिए हाल ही में ग्रेजुएट हुए या जल्दी ही ग्रेजुएट होने जा रहे युवाओं को एचसीएल में काम करने के लिए तैयार करेंगे कंपनी अपने इस प्रोग्राम के माध्यम से ऐप डेवलपमेंट, क्लाउड, आईटी इंफ्रा सर्विस, इंटरनेट ऑफ थिंग्स, डेटा एनालिटिक्स और डिजिटल इंजीनियरिंग जैसे रोल के लिए हायरिंग करेगी. यह हायरिंग अमेरिका के नॉर्थ कैरोलाइना, टेक्सास, कैलिफोर्निया, मिशीगन, मिनेसोटा और कनेक्टीकट आदि जैसे राज्यों में केंद्रित रहेगी | 
 

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