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भारत पर जो वार करेगा, वो पाताल में भी नहीं बचेगा : पीएम मोदी

  • प्रधानमंत्री ने 'ऑपरेशन सिंदूर' पर सवाल उठाने पर कांग्रेस और समाजवादी पार्टी को जमकर घेरा
वाराणसी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'ऑपरेशन सिंदूर' पर सवाल उठाने पर कांग्रेस और समाजवादी पार्टी को जमकर घेरा। उन्होंने कहा कि वो इस नाम पर परेशान हो रहे हैं। उन्होंने दो टूक कहा कि भारत पर जो वार करेगा, वो पाताल में भी नहीं बचेगा। प्रधानमंत्री मोदी ने शनिवार को वाराणसी के सेवापुरी में 2183.45 करोड़ की 52 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। इसके साथ ही पीएम मोदी काशी से दूसरी बार देश के 9.70 करोड़ से ज्यादा किसानों के खाते में पीएम किसान सम्मान निधि की 20वीं किस्त भेजी। इसके बाद उन्होंने ऑपरेशन सिंदूर को लेकर विपक्षी दलों को कटघरे में खड़ा किया।
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि दुर्भाग्य से ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर हमारे देश के कुछ लोगों को भी पेट में दर्द हो रहा है। कांग्रेस पार्टी, उनके चेले-चपाटे, उनके दोस्त इस बात को पचा नहीं पा रहे कि भारत ने पाकिस्तान के आतंकी ठिकानों को तबाह कर दिया। उन्होंने कहा कि आज महादेव की नगरी में विकास और जनकल्याण के इतने काम हुए हैं। शिव का अर्थ ही यही होता है- कल्याण। लेकिन, शिव का दूसरा रूद्र रूप है। सामने जब आतंक और अन्याय होता है तो हमारे महादेव रूद्र रूप धारण करते हैं। ऑपरेशन सिंदूर के दौरान दुनिया ने भारत का यही रूप देखा है।
पीएम मोदी ने आगे कहा, " भारत पर जो वार करेगा, वो पाताल में भी नहीं बचेगा। मोदी ने कहा कि शिव का एक रूप कल्याण है, तो दूसरा रूप रुद्र रूप भी है। सामने जब आतंक और अन्याय होता है, तब हमारे महादेव रुद्र रूप धारण करते हैं।ऑपरेशन सिंदूर के दौरान दुनिया ने भारत का यही रूप देखा है।" आगे बोले कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान भारत के स्वदेशी हथियारों की ताकत पूरी दुनिया ने देखी है। मैं अपने भारतीयों से पूछना चाहता हूं कि आपको ऑपरेशन सिंदूर की सफलता पर गर्व है कि नहीं। कांग्रेस ने ऑपरेशन सिंदूर को तमाशा कहा है, आप मुझे बताइए सिंदूर कभी भी तमाशा हो सकता है क्या। क्या कोई सिंदूर को तमाशा कह सकता है क्या? कोई मुझे बताए क्या आतंकवादियों को भी मारने के लिए इंजतार करना चाहिए क्या? सपा को फोन करूं क्या कि आतंकियों को मार दें क्या? पीएम मोदी ने कहा कि नया भारत भोलेनाथ को भी पूजता है। प्रधानमंत्री ने उत्तर प्रदेश में बनी मिसाइलों का जिक्र करते हुए कहा, " दुश्मनों के सामने कालभैरव भी बन जाता है। मैं यूपी का सांसद हूं, इस नाते मुझे खुशी है कि ब्रह्मोस मिसाइल यूपी में भी बनेगी। ये मिसाइल लखनऊ में तैयार होंगी। अगर पाकिस्तान ने फिर कोई पाप किया तो यूपी में बनी मिसाइल आतंकियों को तबाह कर देंगी। आज यूपी विकास कर रहा है, तो इसके पीछे भाजपा सरकार की नीतियां हैं। यूपी में भाजपा सरकार ने अपराधियों में खौफ भर दिया। मैं यूपी सरकार को बधाई देता हूं। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि मोदी के विकास का मंत्र है 'जो जितना पिछड़ा उसे उतनी ज्यादा प्राथमिकता'।"
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गंगा नदी में 31 लोगों से भरी नाव पलटी, एक का शव बरामद

झारखंड। साहिबगंज जिले में शनिवार सुबह 31 लोगों से भरी नाव गंगा नदी में पलट गई। इस हादसे में चार युवक नदी में डूब गए, जिनमें से एक का शव बरामद कर लिया गया है, जबकि तीन युवक अब भी लापता हैं।यह घटना गंगा नदी थाना क्षेत्र के गदाई दियारा इलाके में सुबह करीब साढ़े सात बजे घटी, जब लोग नाव के सहारे गंगा पार कर रहे थे। बताया जा रहा है कि नाव पर सवार कुल 31 लोगों में से 28 किसी तरह तैरकर बाहर निकल आए, जबकि चार युवक गहरे पानी में डूब गए। स्थानीय युवकों ने नदी में डुबकी लगाकर काहा हांसदा नामक युवक को बाहर निकाला, लेकिन तब तक उसकी मौत हो चुकी थी। उसके साथ गए कृष्णा, जमाई और एक अन्य युवक का अब तक कोई पता नहीं चल पाया है। ये चारों युवक आदिवासी समुदाय से हैं और बड़हरवा प्रखंड के बिंदुवासनी मंदिर के पास स्थित एक गांव के निवासी बताए जा रहे हैं।
ग्रामीणों ने बताया कि ये सभी युवक रांगा थाना क्षेत्र से सुबह-सुबह चूहे पकड़ने के उद्देश्य से निकले थे। बारिश के मौसम में जब बिलों में पानी भर जाता है तो चूहे बाहर निकलते हैं और इसी मौके पर गांव के 17 युवक गंगा पार दियारा इलाके में पहुंचे थे। सुबह वे महाराजपुर घाट से नाव में सवार हुए और दियारा क्षेत्र पहुंचे, लेकिन लौटते समय नाव में आसपास के अन्य ग्रामीण भी सवार हो गए, जिससे नाव में कुल 31 लोग चढ़ गए। क्षमता से अधिक भार और गंगा के तेज बहाव के कारण नाव असंतुलित होकर बीच नदी में पलट गई। हादसे के बाद चीख-पुकार मच गई। जो लोग तैर सकते थे, वे किसी तरह किनारे तक पहुंच गए, लेकिन चार युवक गहरे पानी में डूब गए। स्थानीय लोगों की मदद से एक शव निकाला गया है; बाकी तीन की तलाश जारी है। सूचना मिलने पर स्थानीय पुलिस घटनास्थल पर पहुंची और बचाव अभियान शुरू कराया। गोताखोरों की टीम नदी में लापता युवकों की तलाश कर रही है।
साहिबगंज के उपायुक्त हेमंत सती ने बताया कि एनडीआरएफ की टीम को तत्काल पटना के बिहटा से बुलाया गया है, जो बाढ़ की स्थिति सामान्य होने तक जिले में डटी रहेगी। गृह मंत्रालय से इस संबंध में अनुमति प्राप्त हो चुकी है। एनडीआरएफ की टीम जान-माल की सुरक्षा के लिए पूरी तरह मुस्तैद रहेगी और गंगा में डूबे लोगों की तलाश के लिए राहत और बचाव कार्य में सहयोग करेगी। घटना के बाद मृतक काहा हांसदा का शव जिला सदर अस्पताल लाया जा रहा है। इधर गांव में मातम पसरा हुआ है, परिजन और ग्रामीण गहरे सदमे में हैं। प्रशासन की ओर से प्रभावित परिवारों को हर संभव मदद का भरोसा दिया गया है।
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CM नीतीश कुमार ने 71 पुलिस वाहनों को हरी झंडी दिखाकर किया रवाना

पटना। बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को पुलिस उपाधीक्षक यातायात एवं यातायात थानों के लिए 71 पुलिस वाहनों का लोकार्पण किया। इस दौरान मुख्यमंत्री आवास से मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने हरी झंडी दिखाकर पुलिस वाहनों को रवाना किया। इन नए पुलिस वाहनों के माध्यम से विभिन्न जिलों से जुड़े नेशनल हाइवे, स्टेट हाइवे और शहरों में यातायात नियंत्रण एवं सुरक्षा व्यवस्था को सुदृढ़ करने में मदद मिलेगी। साथ ही प्रभावी ढंग से ट्रैफिक मॉनिटरिंग, दुर्घटना नियंत्रण और ट्रैफिक नियमों के पालन पर भी कड़ी नजर रखी जा सकेगी।
मुख्यमंत्री ने पुलिस वाहनों के लोकार्पण के पूर्व उसका निरीक्षण किया और उसकी कार्यप्रणाली के संबंध में अधिकारियों से जानकारी ली। इस कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा, "इन पुलिस वाहनों की उपलब्धता से राज्य में पुलिसिंग की कार्यक्षमता तथा दक्षता और बढ़ेगी। साथ ही विधि व्यवस्था को व्यवस्थित करने में और सहूलियत होगी। राज्य के विभिन्न जिलों में यातायात व्यवस्था इससे और सुदृढ़ होगी। साथ ही सड़क सुरक्षा एवं ट्रैफिक प्रबंधन और बेहतर होगा।" कार्यक्रम की शुरुआत में पुलिस महानिदेशक विनय कुमार ने मुख्यमंत्री को हरा पौधा भेंटकर स्वागत किया। इस अवसर पर उप मुख्यमंत्री सम्राट चौधरी, उप मुख्यमंत्री विजय कुमार सिन्हा, जल संसाधन सह संसदीय कार्य मंत्री विजय कुमार चौधरी, मुख्यमंत्री के प्रधान सचिव दीपक कुमार, मुख्य सचिव अमृतलाल मीणा, पुलिस महानिदेशक विनय कुमार, सहित अन्य वरीय पदाधिकारी उपस्थित थे।
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने शनिवार को राजीव नगर और आनंदपुरी नालों पर सड़क एवं पुल निर्माण परियोजनाओं का भी शिलान्यास किया। बताया गया कि इन दोनों नालों पर बनने वाली सड़कों और पुलों से न केवल आवागमन आसान होगा, बल्कि लोग इस इलाके में सुरक्षित और तेज गति से यात्रा कर सकेंगे। इन नालों पर बनने वाली सड़क से पटना की यातायात व्यवस्था में बदलाव आने की भी उम्मीद है। मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने बताया कि यह परियोजना शहर के ट्रैफिक जाम को कम करने और पैदल यात्रियों के लिए भी सुरक्षित मार्ग प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। उन्होंने कहा कि ये सड़कें और पुल पटना की सड़कों को स्मार्ट और आधुनिक बनाएंगे, जिससे लोगों की रोजमर्रा की यात्रा सुगम होगी।
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सपा वाले आंकड़ा सुन अपनी साइकिल लेकर भाग जाएंगे : PM मोदी

  • प्रधानमंत्री ने 'पीएम-किसान सम्मान निधि' की 20वीं किस्त जारी करते हुए पहले की सरकारों पर बड़ा हमला बोला
वाराणसी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 'पीएम-किसान सम्मान निधि' की 20वीं किस्त जारी करते हुए पहले की सरकारों पर बड़ा हमला बोला है। उन्होंने कहा कि पहले की सरकारों में किसानों के नाम पर एक घोषणा का पूरा होना भी मुश्किल होता था, लेकिन भाजपा सरकार जो कहती है वह करके दिखाती है। 'पीएम-किसान सम्मान निधि' हमारी सरकार के पक्के इरादों का उदाहरण बन चुकी है।
वाराणसी में आयोजित कार्यक्रम को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि जब 2019 में किसान सम्मान निधि योजना की शुरुआत हुई, तब समाजवादी पार्टी और कांग्रेस जैसे विकास विरोधी दल अफवाहें फैला रहे थे। उन्होंने कहा, "यह दल लोगों को गुमराह कर रहे थे और किसानों को उलझन में डाल रहे थे। कोई कहता था कि यह (पीएम मोदी) भले योजना लाए, लेकिन जैसे ही 2019 का चुनाव जाएगा, यह सब बंद हो जाएगा। यही नहीं, पीएम मोदी ने जो पैसा जमा किया है, वह भी वापस निकाल लेंगे।"
उन्होंने विपक्ष पर हमला बोलते हुए कहा, "यही देश का दुर्भाग्य है कि निशाना की गर्त में डूबे विरोधी मानसिकता वाले लोग ऐसी झूठी सच्चाई को लेकर जी रहे हैं। यह सिर्फ किसानों और देश के लोगों से झूठ बोल सकते हैं। क्या इतने सालों में एक भी किसान सम्मान निधि की किस्त बंद हुई? आज तक किसान सम्मान निधि की किस्त बिना ब्रेक जारी है और पौने 4 लाख करोड़ रुपए किसानों के खातों में भेजे जा चुके हैं। सिर्फ उत्तर प्रदेश में ही किसानों को 90 हजार करोड़ रुपए से ज्यादा भेजे गए हैं।" प्रधानमंत्री ने 'फसल बीमा योजना' का भी उदाहरण दिया। उन्होंने बताया कि इस योजना के तहत बीमा के माध्यम से अब तक पौने 2 लाख करोड़ रुपए से ज्यादा का क्लेम किसानों को दिया जा चुका है।
उन्होंने कहा कि कृषि अर्थव्यवस्था में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने पर सरकार का जोर है। हम लखपति दीदी अभियान चला रहे हैं। हमारा लक्ष्य देश में 3 करोड़ लखपति दीदी बनाने का है। इसी बीच, प्रधानमंत्री ने कहा कि यह समाजवादी पार्टी वाले आंकड़ा सुनकर ही साइकिल लेकर भाग जाएंगे। इससे पहले, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को वाराणसी में 2200 करोड़ रुपए से अधिक की कई विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया। इसी कार्यक्रम स्थल से उन्होंने देशभर के 9.7 करोड़ से अधिक किसानों के खाते में 20,500 करोड़ रुपए से अधिक की राशि हस्तांतरित की।
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दिल्ली सरकार ने एक माह का स्वच्छता अभियान शुरू किया

  • 'दिल्ली को कूड़े से आज़ादी'
नई दिल्ली। मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने शुक्रवार को दिल्ली सरकार के महीने भर चलने वाले स्वच्छता अभियान, 'दिल्ली को कूड़े से आज़ादी' की शुरुआत झाड़ू लगाकर की। गुप्ता ने ज़ोर देकर कहा कि स्वच्छता अभियान तभी सफल होते हैं जब नागरिक स्वयं पहल करते हैं। उन्होंने कहा, "आज, दिल्ली को स्वच्छ, हरा-भरा और सुंदर बनाने की ज़िम्मेदारी हम सभी की है।" गुप्ता ने यह भी कहा कि यह अभियान एक जन आंदोलन है जो दिल्ली में स्वच्छ भारत मिशन को नई गति देगा। उदाहरण प्रस्तुत करते हुए, उन्होंने सामूहिक भागीदारी के महत्व को रेखांकित करने के लिए महिला एवं बाल विकास विभाग के परिसर में झाड़ू लगाई।
कार्यालय की उपेक्षित स्थिति पर चिंता व्यक्त करते हुए, उन्होंने आश्वासन दिया कि इसे सुधारने के लिए प्रभावी कदम उठाए जाएँगे। गुप्ता ने कहा, "स्वच्छता केवल एक आदत नहीं, बल्कि एक नागरिक कर्तव्य है। दिल्ली को कचरा मुक्त बनाने के लिए मिलकर काम करने का समय आ गया है।" उन्होंने कहा कि अभियान का पहला दिन सभी सरकारी कार्यालयों की सफाई के लिए समर्पित है। एक कुशल अपशिष्ट प्रबंधन प्रणाली के महत्व पर प्रकाश डालते हुए, मुख्यमंत्री ने ई-कचरे और स्क्रैप के निपटान की प्रक्रिया को सरल और त्वरित बनाने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने इस बात पर ज़ोर दिया कि स्वच्छता सार्वजनिक स्थानों से आगे बढ़कर कार्यस्थलों तक भी पहुँचनी चाहिए। गुप्ता ने कहा, "हम कचरा हटाएँगे, हरियाली बढ़ाएँगे और स्वच्छता को एक स्थायी आदत बनाएँगे।"
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किसानों के बैंक खातों में प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 20वीं किस्त जारी

वाराणसी। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी अपने संसदीय क्षेत्र वाराणसी के दौरे पर पहुंच गए हैं, जहां वह कुछ देर में करीब 2,183.45 करोड़ रुपये की लागत वाली 52 विकास परियोजनाओं का उद्घाटन और शिलान्यास किया और प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 20वीं किस्त भी जारी की. बताया जा रहा है कि रक्षाबंधन से पहले सावन के महीने में उनका ये दौरा पूर्वांचल के विकास को नई दिशा देगा.
इस मौके पर पीएम मोदी ने एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा, 'आज मैं ऑपरेशन सिंदूर के बाद पहली बार काशी आया हूं. जब 22 अप्रैल पहलगाम में आतंकी हमला हुआ था. 26 निर्दोष लोगों की बेहरमी से हत्या कर दी गई. उनके परिवार की पीड़िता उन बच्चा का दुख और उन बेटियों की वेदना, मेरा मन बहुत दुख से भर गया था. तब मैं बाबा विश्वनाथ से प्रार्थना कर रहा था कि उन्हें ये दुख सहन करने की शक्ति दे. मैंने जो वचन दिया था वो भी पूरा हुआ ये महादेश के आशीर्वाद से पूरा हुआ है.'
साथियों इन दिनों जब काशी में गंगा जल लेकर जाते हुए शिव भक्तों की तस्वीरें देखने का अवसर मिल रहा है और खास कर जब हमारे यादव बंधु बाबा का जलाभिषेक करने निकलते हैं तो वो बहुत ही मनोरम दृश्य होता है. आज काशी से प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 21वीं किस्त जारी की है. इस बारे में बोलते हुए पीएम ने कहा, 'जब काशी से धन जाता है तो वो अपने आप में प्रसाद बन जाता है. 21 हजार करोड़ रुपये किसाने के खाते में जमा कर दिए हैं.'
पीएम ने कहा कि पहले के सरकारों में किसानों के नाम पर एक घोषणा भी पूरी होना मुश्किल थी, लेकिन बीजेपी सरकार जो कहती है वो करके दिखाती हैं. आज पीएम किसान सम्मान निधि सरकार के पक्के इरादों की उदाहरण बन गई है.
किसान सम्मान निधि की 20वीं किस्त जारी
इस मौके पर पीएम नरेंद्र मोदी ने प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि की 20वीं किस्त जारी की, जिसके तहत देशभर के 9.70 करोड़ से अधिक किसानों को 20,500 करोड़ सीधे उनके बैंक खातों में हस्तांतरित किए गए. इसके बाद पीएम ने दिव्यांगजनों और वरिष्ठ नागरिकों को सहायक उपकरण वितरित किए. पीएम ने दृष्टिबाधित छात्रा बबली को लो विजन का चश्मा भेंट किया और छात्रा से बातचीत की. इसके बाद पीएम ने संतोष कुमार पांडे व्हीलचेयर प्रदान की.
 
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'दक्षिण-दक्षिण सहयोग' को बढ़ावा देने नौ देशों में चार प्रोजेक्ट्स शुरू

नई दिल्ली। 'साउथ-साउथ कोऑपरेशन' यानी दक्षिण-दक्षिण सहयोग को बढ़ावा देने की दिशा में एक अहम कदम उठाते हुए भारत और संयुक्त राष्ट्र ने नौ साझेदार देशों में चार कैपेसिटी बिल्डिंग प्रोजेक्ट्स के पहले चरण की शुरुआत की है। यह पहल 'इंडिया-यूएन ग्लोबल कैपेसिटी बिल्डिंग इनिशिएटिव' के तहत शुरू की गई है, जिसका उद्देश्य सस्टेनेबल डेवलपमेंट गोल्स (एसडीजीएस) को हासिल करने में देशों की मदद करना है।
इस पहल का शुभारंभ शुक्रवार को विदेश मंत्रालय (एमईए) के सचिव (पश्चिम) तन्मय लाल ने किया। इन नौ सहयोगी देशों में जाम्बिया, लाओस, नेपाल, बारबाडोस, बेलीज, सेंट किट्स एंड नेविस, सूरीनाम, त्रिनिदाद और टोबैगो और दक्षिण सूडान शामिल हैं।
इस कार्यक्रम में विभिन्न देशों के मिशनों के प्रमुख, संयुक्त राष्ट्र के रेजिडेंट कोऑर्डिनेटर शॉम्बी शार्प, राजनयिक, भारतीय तकनीकी और आर्थिक सहयोग कार्यक्रम (आईटीईसी) की कार्यान्वयन संस्थाओं के अधिकारी, संयुक्त राष्ट्र एजेंसियां और अन्य साझेदार संगठनों ने भी हिस्सा लिया। विदेश मंत्रालय के आधिकारिक प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने 'एक्स' पर लिखा, "एसडीजी लक्ष्यों को हासिल करने के लिए 'दक्षिण-दक्षिण सहयोग' को बढ़ावा! 'इंडिया-यूएन ग्लोबल कैपेसिटी बिल्डिंग इनिशिएटिव' के तहत नौ साझेदार देशों में चार परियोजनाओं के पहले चरण की सचिव (पश्चिम) तन्मय लाल ने शुरुआत की। मिशनों के प्रमुख, यूएन रेजिडेंट कोऑर्डिनेटर शॉम्बी शार्प, राजनयिक, आईटीईसी संस्थाओं के अधिकारी, यूएन एजेंसियां और अन्य साझेदार संगठन कार्यक्रम में शामिल हुए। ये परियोजनाएं खाद्य सुरक्षा, स्वास्थ्य, व्यावसायिक प्रशिक्षण और जनगणना की तैयारियों पर केंद्रित हैं।"
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए तन्मय लाल ने कहा कि "एसडीजी-17 और प्रभावी अंतर्राष्ट्रीय सहयोग की भावना में, वैश्विक क्षमता निर्माण के लिए यह नई भारत-संयुक्त राष्ट्र पहल और भी अधिक महत्वपूर्ण हो जाती है। इसका उद्देश्य एसडीजी से संबंधित प्रमुख क्षेत्रों में अनुभव साझा करना और वैश्विक दक्षिण साझेदारों को सशक्त बनाना है।"
'इंडिया-यूएन ग्लोबल कैपेसिटी बिल्डिंग इनिशिएटिव' के तहत, संयुक्त राष्ट्र अपनी वैश्विक पहुंच का उपयोग करते हुए भारत की श्रेष्ठ कार्यप्रणालियों और संस्थानों को अन्य देशों से जोड़ने में मदद करेगा, ताकि सस्टेनेबल डेवलपमेंट गोल्स (एसडीजीएस) को हासिल करने की गति तेज की जा सके। इस पहल में स्किल्स ट्रेनिंग, नॉलेज एक्सचेंज, और साझेदार देशों में पायलट प्रोजेक्ट्स जैसी कई गतिविधियां शामिल हैं, जिन्हें नए 'यूएन इंडिया एसडीजी कंट्री फंड' और आईटीईसी कार्यक्रम के जरिए लागू किया जाएगा।
यूएन रेजिडेंट कोऑर्डिनेटर शॉम्बी शार्प ने कहा, "वसुधैव कुटुम्बकम (दुनिया एक परिवार है) की भावना के तहत, भारत एसडीजी को गति देने के लिए 'दक्षिण-दक्षिण सहयोग' में अपनी लंबे समय से चली आ रही नेतृत्वकारी भूमिका को विस्तार दे रहा है, जिसमें भारतीय संस्थानों और यूएन प्रणाली की नवाचार और साझेदारी क्षमता का भरपूर उपयोग किया जा रहा है।"
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चुनाव आयोग ने बूथ लेवल अधिकारियों के पारिश्रमिक में वृद्धि करने का फैसला किया, अधिसूचना जारी

दिल्ली/रायपुर। बिहार में जारी मतदाता सूची पुनरीक्षण के बीच भारतीय निर्वाचन आयोग ने शनिवार को बूथ लेवल अधिकारियों के पारिश्रमिक में वृद्धि करने का फैसला किया है। इस संबंध में चुनाव आयोग की तरफ से अधिसूचना भी जारी की गई है। जिसमें आयोग ने अपने फैसले के बारे में बताया। अधिसूचना के मुताबिक, बूथ लेवल अधिकारी को पहले 6 हजार रुपए की राशि मिलती थी, जिसे बढ़ाकर अब 12 हजार रुपए कर दिया गया है। मतदाता सूची के पुनरीक्षण में शामिल बूथ लेवल अधिकारियों को मिलने वाली प्रोत्साहन राशि को एक हजार रुपए से बढ़ाकर अब दो हजार रुपये कर दिया गया है। वहीं, बूथ लेवल पर्यवेक्षक को पहले 12 हजार रुपए मिलते थे, जिसे बढ़ाकर अब 18 हजार रुपए कर दिया गया है। असिस्टेंट इलेक्टोरल रजिस्ट्रेशन ऑफिसर को मिलने वाला पारिश्रमिक अब 25 हजार रुपए है, जबकि इलेक्ट्रॉल रजिस्ट्रेशन ऑफिसर का पारिश्रमिक 30 हजार रुपए कर दिया गया है।
वहीं, निर्वाचन आयोग ने मतदाता सूची पुनरीक्षण की प्रक्रिया में शामिल अधिकारियों की अहम भूमिका को भी रेखांकित किया। आयोग ने कहा कि मतदाता सूची किसी भी लोकतांत्रिक व्यवस्था की आधारशीला होती है, जिसे हमारे आयोग के अधिकारी मिलकर तैयार करते हैं। इसी को देखते हुए हमने उनके पारिश्रमिक को बढ़ाने का फैसला किया है। चुनाव आयोग ने अपनी अधिसूचना में बताया कि इससे पहले अधिकारियों को मिलने वाले पारिश्रमिक में ऐसा संशोधन 2015 में किया था। इसके अलावा, ऐसा पहली बार हुआ है जब असिस्टेंट इलेक्टोरल रजिस्ट्रेशन ऑफिसर और इलेक्ट्रॉल रजिस्ट्रेशन ऑफिसर को मानदेय देने का फैसला किया है।
बता दें कि बिहार में अभी मतदाता सूची पुनरीक्षण की प्रक्रिया जारी है, जिसके तहत फर्जी मतदाताओं को चिन्हित किया जा रहा है। केंद्र सरकार का कहना है कि बांग्लादेश और नेपाल के कई नागरिक फर्जी दस्तावेजों का सहारा लेकर भारतीय नागरिकता प्राप्त कर चुके हैं और यहां का लाभ उठा रहे हैं। लिहाजा ऐसे लोगों को चिन्हित करने के लिए मतदाता सूची पुनरीक्षण जरूरी है। इसके तहत फर्जी मतदाताओं को चिन्हित किया जा रहा है।
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रेप केस में प्रज्वल रेवन्ना दोषी करार, कल सुनाया जाएगा फैसला

  • जज का फैसला सुनते ही कोर्ट में फूट-फूटकर रो पड़े पूर्व JDS सांसद
बेंगलुरु। रेप और सेक्स स्कैंडल में फंसे पूर्व JDS नेता प्रज्वल रेवन्ना दोषी करार दिए गए हैं। महिलाओं के साथ यौन शोषण और बलात्कार के मामले में बेंगलुरु स्थित जनप्रतिनिधियों की विशेष अदालत ने प्रज्वल रेवन्ना को दोषी ठहराया है। जज का फैसला सुनते ही पूर्व सांसद कोर्ट में फूट-फूटकर रो पड़े। बाहर निकलते वक्त भी उनकी आंखों से आंसू बह रहे थे। फैसला सुनकर वह बिल्कुल टूट गए और चुपचाप बाहर निकल गए। सजा का ऐलान कल यानी 2 अगस्त को किया जाएगा।
पूर्व सांसद और देवेगौड़ा परिवार के पोते प्रज्वल रेवन्ना पिछले 14 महीने से जेल में बंद हैं। उन पर एक नहीं, कई महिलाओं के साथ यौन शोषण और बलात्कार के आरोप लगे हैं। मामला तब तूल पकड़ा जब सोशल मीडिया पर उनके सैकड़ों आपत्तिजनक वीडियो वायरल हो गए थे। इसके बाद उनके खिलाफ केस दर्ज हुए और पुलिस ने उन्हें गिरफ्तार किया था।
JDS के निष्कासित नेता और पूर्व लोकसभा सांसद प्रज्वल रेवन्ना को हसन जिले के होलेनरसीपुरा स्थित एक फार्महाउस में घरेलू कामगार से बलात्कार के मामले में बेंगलुरु स्थित जनप्रतिनिधियों की विशेष अदालत ने दोषी ठहराया है। प्रज्वल रेवन्ना के खिलाफ दर्ज बलात्कार के मामले में एक महत्वपूर्ण सबूत के रूप में साड़ी को कोर्ट में पेश किया गया। आरोप है कि पूर्व सांसद ने घरेलू सहायिका के साथ एक नहीं बल्कि दो बार बलात्कार किया था। पीड़िता ने घटना का वीडियो भी रिकॉर्ड किया और उसके पास वह साड़ी भी मौजूद थी, जिसे उसने सबूत के तौर पर संभाल कर रखा था।
कौन हैं प्रज्वल रेवन्ना
पूर्व सांसद प्रज्वल रेवन्ना पूर्व प्रधानमंत्री एच. डी. देवेगौड़ा के पोते और पूर्व मुख्यमंत्री एच. डी. कुमारस्वामी के भतीजे हैं। उन पर यौन हिंसा और बलात्कार के चार अलग-अलग मामलों में गंभीर आरोप लगे हैं। 28 अप्रैल से 10 जून 2024 के बीच 4 FIR दर्ज की जा चुकी थीं। ये मामले होलेनरसीपुरा पुलिस स्टेशन, हासन जिले में दर्ज किए गए थे। 2 साइबर क्राइम मामलों में से एक मामला CID के अधीन साइबर क्राइम पुलिस स्टेशन में दर्ज हुआ था।
परिवार पर भी कानूनी शिकंजा
केवल प्रज्वल ही नहीं उनके पिता एच. डी. रेवन्ना, जो वर्तमान में होलेनरसीपुरा के विधायक हैं। उनके खिलाफ भी एक अलग मामला केआर नगर पुलिस स्टेशन में दर्ज किया गया है। यह मामला संभावित रूप से सबूतों के साथ छेड़छाड़, धमकी या सह-अपराध में शामिल होने से संबंधित हो सकता है।
क्या लगे हैं आरोप? 
प्रज्वल रेवन्ना के खिलाफ दर्ज पहला केस 47 साल की पूर्व नौकरानी के यौन शोषण से जुड़ा है। इसमें उनको मुख्य आरोपी ना बनाकर सहायक आरोपी यानी की आरोपी नंबर 2 बनाया गया है। इसे 28 अप्रैल को हासन के होलेनारसीपुरा में दर्ज किया गया था। इसमें उनके पिता एचडी रेवन्ना मुख्य आरोपी हैं। वो इस समय जमानत पर हैं। दूसरा केस सीआईडी ने दर्ज किया था। यह मामला 1 मई को दर्ज हुआ था। इसमें 44 साल की महिला ने कई बार बलात्कार करने का आरोप लगाया है। पीड़िता जेडीएस की कार्यकर्ता है। तीसरा केस भी रेप का ही है। चौथा केस एक महिला के यौन उत्पीड़न, पीछा करने और धमकी देने के आरोप में दर्ज है। इसमें हासन से पूर्व भाजपा विधायक प्रीतम गौड़ा सहित तीन लोगों का भी नाम है। इन पर यौन उत्पीड़न के दौरान प्रज्वल द्वारा खींची गई तस्वीरों को शेयर करने का आरोप है।
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उपराष्ट्रपति चुनाव 9 सितंबर को, 21 अगस्त तक होगा नामांकन

नई दिल्ली। इलेक्शन कमिशन ने उपराष्ट्रपति चुनाव के लिए अधिसूचना जारी कर दी है। उपराष्ट्रपति चुनाव 9 सितंबर को होगा। 7 से 21 अगस्त अगस्त तक उपराष्ट्रपति पद के लिए नामांकन भरे जाएंगे।  9 सितंबर को सुबह 10 बजे से शाम 5 बजे तक मतदान होगा।
बता दें कि पूर्व उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ ने 21 जुलाई की रात अचानक पद से इस्तीफा दिया था। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 22 जुलाई को धनखड़ का इस्तीफा मंजूर कर लिया था। 74 साल के धनखड़ का कार्यकाल 10 अगस्त 2027 तक था।
इलेक्शन कमीशन ने उपराष्ट्रपति के चुनाव का पूरा शेड्यूल जारी कर दिया है। इसके मुताबिक 7 अगस्त को नोटिफिकेशन जारी किया जाएगा। वहीं 21 अगस्त नामांकन की आखिरी तारीख होगी। 22 अगस्त तक नामांकन पत्रों की जांच की जाएगी। उम्मीदवार 25 अगस्त तक अपना नाम वापस ले सकेंगे। 9 सितंबर को चुनाव होगा. इसी शाम काउंटिंग होगी और रिजल्ट भी घोषित किया जाएगा।
6 स्टेप में चुन जाते हैं उपराष्ट्रपति
स्टेप-1- निर्वाचक मंडल का गठन करना उपराष्ट्रपति का चुनाव निर्वाचक मंडल करता है, जिसमें लोकसभा और राज्यसभा के सभी निर्वाचित और नामित सदस्य शामिल होते हैं।
स्टेप-2- चुनाव की अधिसूचना जारी होना निर्वाचन आयोग द्वारा अधिसूचना में नामांकन, मतदान और परिणाम की तारीखें होती हैं।
स्टेप-3- नामांकन प्रक्रिया उम्मीदवार को कम से कम 20 सांसदों द्वारा प्रस्तावक और 20 सांसदों द्वारा समर्थक के रूप में हस्ताक्षर के साथ नामांकन पत्र दाखिल करना होता है।
स्टेप-4- सांसदों के बीच प्रचार होता है केवल सांसद मतदाता होते हैं। इसलिए यह प्रचार सीमित दायरे में होता है। उम्मीदवार और उनके समर्थक दल प्रचार में शामिल होते हैं।
स्टेप-5- मतदान की प्रक्रिया शुरू होगी हर सांसद मतपत्र पर प्रत्याशियों को प्राथमिकता के क्रम में (1, 2, 3…) अंकित करता है।
स्टेप-6- मतों की गिनती और परिणाम जीत के लिए कुल वैध मतों का साधारण बहुमत (50% से अधिक) प्राप्त करना होता है। रिटर्निंग ऑफिसर नतीजे की घोषणा करते हैं।
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चक्रव्यूह में फंसे हैं अनिल अंबानी, 5 अगस्त को खुलेगा राज

Anil Ambani Loan Fraud Case : क्या अनिल अंबानी को घेरती जा रही है सबसे बड़ी वित्तीय जांच की परछाई? 3000 करोड़ के लोन फ्रॉड केस में ED ने उन्हें समन भेजा है और पूछताछ की तारीख तय हुई है, 5 अगस्त. लेकिन यह सिर्फ एक समन नहीं… शायद एक ऐसे राज़ की कुंजी है, जो देश की कुछ सबसे बड़ी कॉर्पोरेट चालों को उजागर कर सकता है.
प्रवर्तन निदेशालय यानी ED ने बीते हफ्ते मुंबई और दिल्ली में अनिल अंबानी से जुड़ी 50 से ज्यादा कंपनियों और ठिकानों पर छापे मारे. 25 से अधिक लोगों से लंबी पूछताछ की गई. और अब सीधे अनिल अंबानी को बुलाया गया है.
PMLA यानी प्रिवेंशन ऑफ मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट की धारा 17 के तहत. जांच एजेंसी को संदेह है कि 2017 से 2019 के बीच यस बैंक से मिले करीब 3000 करोड़ रुपये के लोन का दुरुपयोग किया गया. ED की रिपोर्ट के अनुसार, यह लोन कई ऐसी कंपनियों को दिए गए, जो या तो कागज़ों पर मौजूद थीं, या फिर एक ही डायरेक्टर और पते के नाम पर कई कंपनियाँ बनाई गई थीं. पैसा असल बिज़नेस में नहीं लगाया गया, बल्कि फर्जी इकाइयों में डायवर्ट कर दिया गया.
जांच में यह भी सामने आया है कि कुछ मामलों में पुराने लोन चुकाने के लिए नए लोन लिए गए. यानी लोन को “एवरग्रीन” किया गया, ताकि असली घाटा कभी सामने ही न आए.
CBI पहले ही दो एफआईआर दर्ज कर चुकी है- एक रिलायंस होम फाइनेंस लिमिटेड और दूसरी रिलायंस कॉमर्शियल फाइनेंस लिमिटेड को लेकर. दोनों को लोन यस बैंक ने दिए थे और इन मामलों में यस बैंक के पूर्व CEO राणा कपूर का नाम भी सामने आया है.
नेशनल हाउसिंग बैंक, सेबी, NFRA और बैंक ऑफ बड़ौदा जैसी संस्थाओं ने भी इस जांच में डेटा साझा किया है. यानी अब यह जांच बहु-एजेंसी मोड में जा चुकी है.
अनिल अंबानी की दो बड़ी कंपनियाँ, रिलायंस इन्फ्रास्ट्रक्चर और रिलायंस पावर दोनों के शेयरों में 5% तक की गिरावट दर्ज की गई. आज जब समन की खबर आई, तब इन शेयरों में और 3% की गिरावट देखने को मिली. हालांकि, रिलायंस पावर का कहना है कि उनका इन जांचों से कोई लेना-देना नहीं है. न तो उनके पास RHFL के साथ कोई वित्तीय संबंध है, न ही RCom के साथ.
कुछ दिन पहले SBI ने रिलायंस कम्युनिकेशंस और स्वयं अनिल अंबानी को ‘फ्रॉड’ घोषित किया था. बैंक का आरोप है कि RCom ने 31,580 करोड़ रुपये के लोन का गलत इस्तेमाल किया. जिसमें से करीब 13,667 करोड़ रुपये अन्य कंपनियों के लोन चुकाने में और 12,692 करोड़ रुपये रिलायंस ग्रुप की अन्य कंपनियों को ट्रांसफर कर दिए गए.
अब SBI, CBI में शिकायत दर्ज कराने की तैयारी कर रहा है. साथ ही अनिल अंबानी के खिलाफ पर्सनल इनसॉल्वेंसी की प्रक्रिया भी NCLT में चल रही है.
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CM फडणवीस ने माणिकराव कोकाटे को कृषि मंत्री पद से हटाया

  • महाराष्ट्र के मंत्री को "रमी गेम" खेलना पड़ा महंगा
  • विधानसभा सत्र के दौरान गेम खेलते वीडियो हुआ था वायरल
महाराष्ट्र ‘रमी गेम’ विवाद में फंसे NCP (अजित पवार गुट) के नेता माणिकराव कोकाटे को गेम खेलना महंगा पड़ गया है। सीएम फडणवीस ने माणिकराव कोकाटे को कृषि मंत्री पद से हटा दिया है। हालांकि उनसे कृषि मंत्रालय लेकर तुरंत खेल और अल्पसंख्यक विभाग सौंपा गया। वहीं दत्तात्रेय भरणे को नया कृषि मंत्री नियुक्त किया गया है। यह निर्णय राज्य के सामान्य प्रशासन विभाग (GAD) की ओर से जारी एक अधिसूचना में लिया गया।
बता दें किकोकाटे तब विवादों में आ गए थे जब महाराष्ट्र विधान परिषद की कार्यवाही के दौरान उनका एक वीडियो सामने आया, जिसमें वे मोबाइल पर ऑनलाइन ‘रमी’ गेम खेलते हुए दिखे थे। यह वीडियो शरद पवार गुट के विधायक रोहित पवार और जितेंद्र आव्हाड द्वारा सोशल मीडिया पर साझा किया गया था। इससे पहले, कोकाटे उस समय भी आलोचना के घेरे में आए थे जब उन्होंने किसानों की तुलना भिखारियों से कर दी थी, जिससे राजनीतिक हलकों में खलबली मच गई थी।
हालांकि माणिकराव कोकाटे ने आरोपों को नकारते हुए कहा था कि वह केवल एक पॉप-अप बंद कर रहे थे, रमी गेम नहीं खेल रहे थे। उन्होंने आलोचकों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की धमकी भी दी थी, लेकिन एक विधायी जांच में खुलासा हुआ कि वे करीब 18 से 22 मिनट तक मोबाइल गेम में संलग्न थे, जबकि उन्होंने सिर्फ 10-15 सेकंड की बात कही थी।
कोकाटे ने मांगी थी माफी
विपक्ष द्वारा डिप्टी सीएम अजित पवार से कोकाटे के इस्तीफे की उम्मीद जताई जा रही थी। लेकिन कोकाटे को सिर्फ चेतावनी देकर छोड़ दिया गया था। उन्होंने माफ़ी मांगी और आगे ऐसा न करने का वादा किया था।
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1 अगस्त से देश में लागू हुए 6 बड़े बदलाव

  • UPI, क्रेडिट कार्ड और LPG सिलेंडर के दाम समेत बदल गए ये नियम\
Rule Change From 1st August : 1 अगस्त 2025 यानी आज से कई फाइनेंशियल नियमों में बदलाव हो गया है। 1 अगस्त से देश में देश में 6 बड़े बदलाव लागू हुए हैं। इनमें क्रेडिट कार्ड के नियम, UPI ट्रांजैक्शन से जुड़े नियमों में बदलाव, ट्रेडिंग घंटों में विस्तार, SBI क्रेडिट कार्ड के इंश्योरेंस कवर में कटौती और एलपीजी सिलेंडर की कीमतों में रिवाइज शामिल है। यह बदलाव आपकी जेब पर बोझ डाल सकते हैं और आपके बजट को प्रभावित कर सकते हैं। आइए जानते हैं अगले महीने से कौन-कौन से नियम बदल रहे हैं-
पहला- क्रेडिट कार्ड में बदलाव 
अगर आप SBI Card होल्‍डर्स हैं तो आपको एक बड़ा झटका लग सकता है, क्‍योंकि 11 अगस्‍त से एसबीआई ने कई को-ब्रांडेड क्रेडिट कार्ड्स पर मिलने वाले फ्री एयर एक्सीडेंट इंश्योरेंस कवर को बंद करने जा रहा है। अभी तक SBI- UCO बैंक, सेंट्रल बैंक, पीएसबी, करूर वैश्य बैंक, अलाहाबाद बैंक के साथ मिलकर कुछ ELITE और PRIME कार्ड्स पर 1 करोड़ रुपये या 50 लाख रुपये का कवर देता था।
दूसरा- LPG सिलेंडर की कीमतों में हुआ बदलाव
हर महीने की तरह इस बार भी 1 अगस्त को ऑयल मार्केटिंग कंपनियों ने एलपीजी सिलेंडर की कीमतों (LPG gas cylinder price)घटा दी हैं. इस बार 19 किलो वाले कमर्शियल एलपीजी सिलेंडर के दाम में 33.50 रुपये की कटौती की है। नई दरें आज यानी 1 अगस्त से लागू हो गई हैं। दिल्ली में अब 19 किलो कमर्शियल सिलेंडर की कीमत 1,631.50 रुपये हो गई है। हालांकि, 14.2 किलो वाले घरेलू एलपीजी सिलेंडर के दाम में कोई बदलाव नहीं किया गया है। इससे कमर्शियल उपभोक्ताओं को थोड़ी राहत जरूर मिली है, लेकिन घरेलू ग्राहकों को अभी राहत का इंतजार है।
तीसरा- UPI के बदल रहे ये नियम 
1 अगस्‍त से UPI को लेकर कई नए नियम लागू होंगे. अगर आप नियमित तौर पर Paytm, PhonePe, GPay या किसी अन्‍य पेमेंट थर्ड प्‍लेटफॉर्म का यूज करते हैं तो भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) ने आपके लिए दबाव कम करने और बेहतर पेमेंट सुविधा देने के लिए कई नियम बदले हैं। NPCI ने कुछ नए लिमिटेशन लगाई हैं, जो आपके पेमेंट को प्रभावित नहीं करेंगे, लेकिन बैलेंस चेक, स्टेटस रिफ्रेश और अन्य चीजों पर लिमिट लगाते हैं।
 
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'राज्यसभा वेल में सीआईएसएफ जवानों का आना बेहद आपत्तिजनक' : मल्लिकार्जुन खरगे

  • राज्यसभा में विपक्ष के नेता ने उपसभापति को लिखा पत्र
नई दिल्ली। वरिष्ठ कांग्रेस सांसद और राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे ने उपसभापति हरिवंश को पत्र लिखा है। उन्होंने सदन के वेल में सीआईएसएफ जवानों के आने की घटना को 'बेहद आपत्तिजनक' बताया और कहा कि संसद में ऐसी घटना हैरान करने वाली है। खरगे ने उपसभापति को लिखे पत्र में कहा, भविष्य में, जब राज्यसभा सदस्य जनहित के महत्वपूर्ण मुद्दे उठा रहे होंगे, तो सीआईएसएफ कर्मी सदन के वेल में नहीं आएंगे, उन्हें ऐसी उम्मीद है।'
बता दें कि संसदीय नियमावली के तहत सदन की कार्यवाही चलते समय सदन के वेल में सांसदों का आना प्रतिबंधित होता है। इसे सदन में अव्यवस्था के साथ-साथ सभापति के आसन पर दबाव बनाने के प्रयास की तरह देखा जाता है। सदन के वेल में घुसने को लेकर सभापति सांसदों को आगाह करते हैं। पीठासीन सभापति के निर्देशों और अपील का उल्लंघन करने पर सांसदों को निलंबित भी किया जा सकता है।
राज्यसभा में विपक्ष के नेता ने अपने पत्र में क्या लिखा?
कांग्रेस अध्यक्ष और राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खरगे ने उपसभापति डॉ हरिवंश को लिखे पत्र में कहा, 'हम इस बात से हैरान और स्तब्ध हैं कि सीआईएसएफ कर्मियों को सदन के वेल में प्रवेश की अनुमति दी जा रही है।
उम्मीद है- भविष्य में सदन के वेल में नहीं घुसेंगे सीआईएसएफ कर्मी
उन्होंने कहा कि जिस समय राज्यसभा सदस्य जब अपने लोकतांत्रिक अधिकार का प्रयोग कर रहे हैं... उस समय सुरक्षाकर्मियों का सदन के वेल में आना बेहद आपत्तिजनक है और वे इसकी कड़ी निंदा करते हैं। खरगे ने लिखा, 'हम उम्मीद करते हैं कि भविष्य में, जब सदस्य जनहित के महत्वपूर्ण मुद्दे उठा रहे होंगे, तो सीआईएसएफ कर्मी सदन के वेल में नहीं आएंगे।'
क्या होता है राज्यसभा का वेल
संसद की कार्यवाही संचालन के समय सभापति के आसन के ठीक सामने राज्यसभा महासचिव बैठते हैं। उनके अलावा सदन की कार्यवाही चलाने में मदद करने वाले कई अन्य पदाधिकारी भी होते हैं। सांसदों के बैठने की जगह और सभापति के आसन के बीच अर्धचंद्राकार या यू शेप वाले हिस्से को सदन का वेल कहा जाता है। इस जगह पर बिना अनुमति के आना नियमों का उल्लंघन और अनुशासनहीनता की श्रेणी में आता है।
जब सदन के वेल में घुसकर माननीयों ने खुद तोड़ी मर्यादा की सीमाएं
सदन के वेल में आना इसलिए भी आपत्तिजनक है क्योंकि राज्यसभा महासचिव और उनके अन्य सहयोगी पदाधिकारियों के पास संवेदनशील और आधिकारिक संसदीय दस्तावेज होते हैं। बीते कुछ समय में इस जगह पर आने के कारण कई सांसदों को निलंबन का दंड भी झेलना पड़ा है। हंगामा और शोरशराबा करने के बाद उग्र हुए कुछ सांसदों ने तो मर्यादा की तमाम सीमाओं को तोड़ते हुए महासचिव की टेबल पर चढ़ने से भी गुरेज नहीं किया। ऐसे अशोभनीय आचरण करने वाले सांसदों को पूर्व उपराष्ट्रपति और राज्यसभा के तत्कालीन सभापति वेंकैया नायडू ने सदन से पूरे सत्र निलंबित कर दिया था।
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झारखंड विधानसभा का मानसून सत्र शुरू

  • स्पीकर ने सदन में रचनात्मक संवाद की अपील की
रांची। झारखंड विधानसभा का मानसून सत्र शुक्रवार से शुरू हुआ। सत्र के पहले दिन स्पीकर रवींद्रनाथ महतो ने सदन को संबोधित करते हुए लोकतंत्र की आदर्श परंपराओं के निर्वाह, सदन में रचनात्मक संवाद और सहभागिता की अहमियत पर बल दिया। उन्होंने कहा, “आम जन की आकांक्षाओं की पूर्ति ही हमारी सर्वोच्च प्राथमिकता होनी चाहिए। लोकतंत्र तभी सफल होता है, जब हम सभी अपने दायित्वों का समर्पण के साथ निर्वहन करें।” उन्होंने कहा कि संवाद, सहमति और सहभागिता से ही सदन जनता की अपेक्षाओं का प्रतीक बनता है।
महतो ने कहा, “लोकतंत्र केवल बहुमत का शासन नहीं है, बल्कि अल्पमत का सम्मान भी जरूरी है। सदन को स्वस्थ बहस, रचनात्मक आलोचना और विचार-विमर्श का मंच बनना चाहिए।” स्पीकर ने सत्र के कार्यक्रम की आधिकारिक सूचना सदस्यों के साथ साझा की। सत्र सात अगस्त तक चलेगा, जिसमें कुल पांच कार्य दिवस निर्धारित किए गए हैं। 4 अगस्त को वित्तीय वर्ष 2025-26 का पहला अनुपूरक बजट पेश किया जाएगा। 5 अगस्त को प्रश्नकाल के बाद अनुपूरक बजट पर चर्चा होगी। 6 अगस्त को प्रश्नकाल और राजकीय विधेयकों पर विचार किया जाएगा। 7 अगस्त को प्रश्नकाल के बाद राजकीय विधेयक और गैर सरकारी संकल्पों पर चर्चा होगी।
सत्र के पहले दिन देश-राज्य की कई विभूतियों, पूर्व सांसदों और विधायकों के निधन पर शोक प्रस्ताव लाया गया। सदन ने धनबाद के पूर्व सांसद चंद्रशेखर सिंह, कोडरमा के पूर्व सांसद तिलकधारी सिंह, पूर्व विधायक ओमीलाल आजाद, ज्योतिंद्र प्रसाद, युगल किशोर पांडेय, इसरो के पूर्व अध्यक्ष डॉ. के. कस्तूरीरंगन, चिकित्सक डॉ. शोभा चक्रवर्ती और हॉकी कोच प्रतिमा बरवा सहित अन्य दिवंगतों को श्रद्धांजलि दी। अहमदाबाद विमान हादसे में यात्रियों और पहलगाम में आतंकी हमले में पर्यटकों के निधन पर भी शोक व्यक्त किया गया। सदन में दो मिनट का मौन रखकर सभी दिवंगत आत्माओं को श्रद्धांजलि दी।
सदन के नेता हेमंत सोरेन, नेता प्रतिपक्ष बाबूलाल मरांडी सहित अन्य ने इन विभूतियों के योगदान की चर्चा की। इसके बाद सदन की कार्यवाही सोमवार सुबह 11 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई। स्पीकर रवींद्रनाथ महतो ने मानसून सत्र के लिए सभापतियों के नामों की घोषणा की। इनमें स्टीफन मरांडी, सीपी सिंह, निरल पूर्ति, रामचंद्र सिंह और नीरा यादव शामिल हैं। कार्यमंत्रणा समिति की भी घोषणा की गई, जिसमे अध्यक्ष स्वयं स्पीकर होंगे। मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन, राधाकृष्ण किशोर, बाबूलाल मरांडी, सरयू राय, निरल पूर्ति और अरूप चटर्जी को सदस्य बनाया गया है। वहीं, विशेष आमंत्रित सदस्य के रूप में दीपक बिरूआ, मथुरा महतो, सीपी सिंह, स्टीफन मरांडी, प्रदीप यादव, सुरेश पासवान, नवीन जायसवाल, जर्नादन पासवान, बसंत सोरेन, नीरा यादव, कल्पना सोरेन मुर्मू, निर्मल महतो और जयराम महतो को शामिल किया गया है। -आईएएनएस
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राहुल गांधी का बड़ा दावा- 'हमारे पास एटम बम है, फटेगा तो हिंदुस्तान में चुनाव आयोग कहीं नहीं दिखेगा'

नई दिल्ली। लोकसभा में नेता प्रतिपक्ष और कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने शुक्रवार को बिहार में मतदाता सूची पुनरीक्षण (एसआईआर) को लेकर चुनाव आयोग पर बड़ा आरोप लगाया। उन्होंने मीडिया से बात करते हुए दावा किया कि चुनाव आयोग वोट चोरी करवा रहा है और मैं 100 प्रतिशत सबूतों के साथ ये बोल रहा हूं। राहुल गांधी ने कहा कि हमारे पास एटम बम है और ये फटेगा तो हिंदुस्तान में चुनाव आयोग कहीं नहीं दिखेगा। उन्होंने ये भी कहा कि अधिकारी रिटायर भी हो जाएंगे तो छोड़ेंगे नहीं।
कांग्रेस सांसद राहुल गांधी ने कहा कि हमारे पास सबूत है कि चुनाव आयोग वोट चोरी करवा रहा है, और मैं ये हल्के में नहीं बोल रहा हूं। मैं 100 प्रतिशत सबूतों के साथ ये बात कह रहा हूं। हम जैसे ही ये सबूत सबके सामने रखेंगे, पूरे देश को पता चल जाएगा कि चुनाव आयोग वोट चोरी करा रहा है। किसके लिए करा रहा है- भाजपा के लिए करा रहा है। ये ओपन एंड शट है; इस पर कोई सवाल नहीं उठा सकता।
उन्होंने कहा कि हमें मध्य प्रदेश में संदेह था, लोकसभा चुनाव में संदेह था, और महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में संदेह था। हमें स्टेट लेवल पर लगा कि चोरी हुई है। एक करोड़ वोटर ऐड हुए थे, फिर हम थोड़ा डिटेल में गए। चुनाव आयोग हमारी मदद नहीं कर रहा था, इसलिए हमने अपनी तरफ से जांच करवाई। इस जांच में 6 महीने लगे और जो हमें मिला है, वो एटम बॉम्ब है, और ये फटेगा तो आप हिंदुस्तान में इलेक्शन कमीशन कहीं नहीं देखेंगे।
राहुल गांधी ने आगे कहा कि मैं सिरियसली बोल रहा हूं, चुनाव आयोग में जो भी वोट चुराने का काम कर रहे हैं, उन्हें हम छोड़ेंगे नहीं। क्योंकि आप हिंदुस्तान के खिलाफ काम कर रहे हैं, जो देशद्रोह है। आप कहीं भी हों, चाहे आप रिटायर ही क्यों न हो जाएं, हम आपको ढूंढ निकालेंगे।  -आईएएनएस
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सीबीआई 4.5 करोड़ बैंक धोखाधड़ी मामले में भगोड़े उदित खुल्लर को यूएई से भारत लाई

नई दिल्ली। सीबीआई ने 4.5 करोड़ बैंक धोखाधड़ी के मामले में वांछित भगोड़े उदित खुल्लर को यूएई से भारत लाया गया है. एक बड़ी सफलता में, केंद्रीय अन्वेषण ब्यूरो (CBI) ने INTERPOL के माध्यम से समन्वय करते हुए वांछित भगोड़ा उदित खुल्लर को संयुक्त अरब अमीरात (UAE) से भारत प्रत्यर्पित कराया है। उदित खुल्लर को 1 अगस्त 2025 को दुबई से नई दिल्ली के इंदिरा गांधी अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डे पर लाया गया.
यह कार्रवाई CBI की इंटरनेशनल पुलिस कोऑपरेशन यूनिट (IPCU) और अबू धाबी स्थित नेशनल सेंट्रल ब्यूरो (NCB-UAE) के बीच करीबी तालमेल के तहत संभव हो सकी। सीबीआई की सतत निगरानी और फॉलोअप के जरिए उदित खुल्लर को UAE में ट्रेस किया गया और फिर वहां की एजेंसियों ने उसे हिरासत में लिया.
उदित खुल्लर के खिलाफ दिल्ली पुलिस के स्पेशल सेल थाना में आपराधिक साजिश, धोखाधड़ी और जालसाजी के आरोपों में मामला दर्ज है। जांच में सामने आया है कि खुल्लर और उसके सहयोगियों ने जाली दस्तावेज़ों के आधार पर तीन फर्जी होम लोन के जरिए 4.55 करोड़ रुपये की रकम राष्ट्रीयकृत और निजी बैंकों से प्राप्त की थी.
CBI की जांच में यह भी सामने आया कि जिन संपत्तियों के कागजात प्रस्तुत किए गए थे, वे वास्तव में उदित खुल्लर के स्वामित्व में नहीं थीं। यह सब कुछ एक सुनियोजित आपराधिक साजिश के तहत किया गया था. CBI ने उदित खुल्लर की गिरफ्तारी के बाद UAE प्रशासन से औपचारिक अनुरोध कर उसके प्रत्यर्पण की प्रक्रिया पूरी करवाई। CBI भारत में INTERPOL की नेशनल सेंट्रल ब्यूरो (NCB) के रूप में कार्य करती है और देश की तमाम कानून प्रवर्तन एजेंसियों के साथ BHARATPOL के जरिए सहयोग करती है. पिछले कुछ  सालों में INTERPOL समन्वय के माध्यम से 100 से अधिक वांछित अपराधियों को भारत वापस लाया गया है.
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युवाओं में कौशल विकास के लिए एआई की मदद ले रही योगी सरकार

  • महिला-दिव्यांग प्रशिक्षकों के लिए आरक्षण भी तय
उत्तर प्रदेश। उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की सरकार ने युवाओं के लिए यूपी कौशल विकास मिशन के तहत वित्तीय वर्ष 2025-26 के लिए रिकॉर्ड लक्ष्य आवंटित करने का दावा किया है। सरकार का कहना है कि इस बार लक्ष्य निर्धारण की प्रक्रिया को पहले से ज्यादा वैज्ञानिक और तकनीकी आधारित बनाया गया है। प्रमुख सचिव और मिशन निदेशक के नेतृत्व में पहली बार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) प्लेटफॉर्म का उपयोग करते हुए जनपदों की औद्योगिक मांग, उपलब्ध संसाधनों, सेवायोजन क्षमता और पूर्व उपलब्धियों का गहराई से विश्लेषण किए जाने की भी बात कही गई है। इसके आधार पर जनपदवार प्रशिक्षण प्रदाताओं को लक्ष्य दिए गए हैं।
इस बार हर प्रशिक्षण प्रदाता को अधिकतम पांच जनपदों तक सीमित किया गया है, ताकि कुछ संस्थानों का वर्चस्व न रहे और क्षेत्रीय संतुलन बना रहे। आकांक्षी जनपदों और ब्लॉकों को प्राथमिकता देते हुए उन्हें शत-प्रतिशत प्रशिक्षण केंद्रों से आच्छादित किया गया है। जहां पिछले वर्ष आवासीय प्रशिक्षण मात्र 1% था, उसे बढ़ाकर 36% कर दिया गया है, क्योंकि ऐसे प्रशिक्षण में छात्रों की उपस्थिति और गुणवत्ता बेहतर देखी गई है। वहीं, औद्योगिक इकाइयों की भागीदारी को 3% से बढ़ाकर 47% कर दी गई है, जिससे उद्योगों की आवश्यकता के अनुसार प्रशिक्षण और बेहतर सेवायोजन सुनिश्चित हो सके।
इन्वेस्ट यूपी के सहयोग से प्रदेश में स्थापित होने वाली बड़ी औद्योगिक परियोजनाओं की भविष्य की मांग का आकलन कर लक्ष्य तय किए गए हैं। जनपदों के मुख्य विकास अधिकारियों (सीडीओ) की मदद से सेवायोजन क्षमता और रोजगार की आवश्यकताओं का भी विश्लेषण कराया गया। इस बार टाटा द्वारा आच्छादित आईटीआई संस्थानों में भी अल्पकालीन कोर्स को शामिल किया गया है।
महिलाओं और दिव्यांगों को प्राथमिकता
प्रशिक्षण प्रदाताओं के लिए महिलाओं के लिए 33% और दिव्यांगों के लिए पांच प्रतिशत आरक्षण अनिवार्य किया गया है। इस बार ड्रोन टेक्नोलॉजी, रोबोटिक्स, मशीन लर्निंग, डिजिटल टेक्नोलॉजी, कंटेंट क्रिएटर, ग्रीन जॉब्स और सोलर एनर्जी जैसे भविष्य के उपयोगी कौशलों को भी विशेष प्राथमिकता दी गई है। राजकीय औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थानों के साथ-साथ सीपेट, UPICO जैसी विशिष्ट संस्थाओं को भी कुल 810 लक्ष्यों का आवंटन किया गया है।
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