हरतालिका तीज व्रत रख रही हैं तो इन बातों का रखें ध्यान
26-Aug-2022 3:35:36 pm
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हिंदू पंचांग के अनुसार, हरतालिका तीज भाद्रपद माह (अगस्त-सितंबर) की शुक्ल पक्ष तृतीया को मनाया जाता है. हरतालिका तीज को सबसे बड़ी तीज के रूप में पूजा जाता है. हरतालिका तीज का व्रत वैवाहिक सुख और संतान के लिए मनाया जाता है. पंडित गोविंद पांडे बताते हैं कि हरतालिका तीज पर महिलाएं गेहूं या मिट्टी से बनी मूर्तियों को तैयार करके भगवान शिव और देवी पार्वती की विधि-विधान से पूजा करती हैं. इस दिन महिलाएं निर्जला और निराहार व्रत रखकर अपने पति की लंबी उम्र की कामना करती हैं. कुंवारी कन्याएं भी हरतालिका तीज व्रत रखती हैं. मान्यता है कि इससे कुंवारी कन्याओं को मनचाहा वर मिलता है.
हरतालिका तीज 2022 का शुभ मुहूर्त
इस बार हरतालिका तीज व्रत 30 अगस्त 2022 को रखा जाएगा. इस दिन सुबह साढ़े छह बजे से लेकर 8 बजकर 33 मिनट तक हरतालिका तीज की पूजा होगी. वहीं, शाम 6 बजकर 33 मिनट से रात 08 बजकर 51 मिनट तक प्रदोष काल रहेगा.
हरतालिका तीज की कहानी
पौराणिक कथा के अनुसार, देवी पार्वती की सहेलियां उनको जंगल में ले गईं ताकि उनके पिता उनकी इच्छा के विरुद्ध भगवान विष्णु से विवाह करने के लिए मजबूर न कर सकें. हरतालिका तीज की पूजा सुबह के समय की जाती है. हरितालिका तीज पर श्रीगणेश, भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा की जाती है. तीनों को वस्त्र अर्पित किए जाते हैं और हरितालिका तीज व्रत कथा सुनी जाती है.
हरतालिका तीज व्रत का नियम
1- हिंदू मान्यताओं के अनुसार, हरतालिका तीज व्रत विवाहित महिलाएं व कुंवारी कन्याएं रख सकती हैं.
2- इस दिन महिलाएं निर्जला और निराहार व्रत रखती हैं. इस दौरान भूलकर भी अनाज व जल ग्रहण नहीं करना चाहिए.
3- मान्यताओं के अनुसार, कुछ जगह व्रत खत्म होते ही जल ग्रहण किया जाता है, वहीं कुछ जगह व्रत के अगले दिन जल ग्रहण किया जाता है.
4- इस व्रत को रखते समय आपको गुस्सा नहीं होना चाहिए. अपने शांत और शीतल मन से इस व्रत को रखना चाहिए.
5- व्रत रखते समय अपने से छोटे या बुजुर्गों को ऐसा कुछ ना कहे, जिससे उनका दिल दुखे. अपने पति को भी अपशब्द ना बोलें.