हिंदुस्तान

रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांत दास ने नई मौद्रिक नीति की घोषणा

रिजर्व बैंक ने अहम ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है. शुक्रवार को रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांत दास ने नई मौद्रिक नीति की घोषणा की. देश के सेंट्रल बैंक ने लगातार सातवीं बार रेपो रेट और रिवर्स रेपो रेट को पुराने दर पर बरकरार रखा  है.रिजर्व बैंक ने रेपो रेट को 4 प्रतिशत पर बरकरार रखा है, जबकि रिवर्स रेपो रेट को 3.35 फीसदी रखा गया है. कमर्शियल बैंक जिस दर पर रिजर्व बैंक से लोन लेते हैं उसे रेपो रेट कहते हैं. जबकि रिवर्स रेपो रेट उस दर को कहते हैं जिस दर पर रिजर्व बैंक व्यावसायिक बैंकों को अपने पास जमा राशि के लिए ब्याज देता है. 


मई 2020 से देश में रेपो रेट 4 फीसदी बना हुआ है. रिजर्व बैंक के अनुसार, ऐसा इसलिए किया गया है ताकि कमर्शियल बैंक कम दर पर रिजर्व बैंक से लोन लेकर सस्ती दर पर ही उपभोक्ता को लोन दे सकें, ताकि देश में औद्योगिक-व्यावसायिक गतिविधियों को रफ्तार मिल सके.रिजर्व बैंक गवर्नर शक्तिकांत दास ने कहा कि अर्थव्यवस्था धीरे-धीरे कोरोना की दूसरी लहर के प्रभाव से मुक्त हो रही है. उन्होंने कहा कि देश में मांग के परिदृश्य में सुधार हो रहा है लेकिन अभी और सुधार की जरूरत है.

शक्तिकांत दास ने कहा कि कोरोना की तीसरी लहर के प्रति चौकन्ना रहने की जरूरत है. आरबीआई ने वित्त वर्ष 2021-22 के लिए जीडीपी ग्रोथ रेट का अनुमान 9.5 फीसदी बरकरार रखा है.उन्होंने कहा कि मौद्रिक नीति कमेटी के अनुमानों के अनुसार ही जून में देश में आर्थिक गतिविधियां बढ़ी हैं और अर्थव्यवस्था कोरोना की दूसरी लहर के प्रभाव से निकल रही है. |

 
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सीएम शिवराज ने बुलाई कैबिनेट की आपात बैठक

भोपाल :- मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने आज कैबिनेट की आपात बैठक बुलाई है। इसे लेकर गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने मीडिया को जानकारी दी। बताया कि आज कैबिनेट में बाढ़ के बाद के हालातों पर चर्चा होगी। राहत और कैसे जनजीवन सामान्य करें इस पर चर्चा होगी। 12 बजे कै​बिनेट की बैठक होगी। मुख्यमंत्री आज राजस्व विभाग, गृह विभाग, स्वास्थ्य विभाग, पीडब्ल्यूडी विभाग, पीएचई विभाग की समितियों का ऐलान कर सकते हैं। समिति में मंत्री, एसीएस/पीएस शामिल रहेंगे। इसके साथ ही मुख्यमंत्री पीड़ितों के लिए बड़ा ऐलान कर सकते हैं।  

 
श्योपुर में बाढ़ से प्रभावित लोगों ने चक्काजाम किया। प्रदर्शनकारियों का कहना है कि पानी की समस्या से पिछले 5 दिन से परेशान हो रहे। वहीं आज प्रशासन से नाराजगी के चलते प्रदर्शन कर रहे। सड़कों पर लोग कर रहे प्रदर्शन। राजस्थान के कोटा-बारां बड़ोदा रोड पर प्रदर्शन हो रहा। गृह मंत्री नरोत्तम मिश्रा ने अरुण यादव और कमलनाथ की मुलाकात पर कहा कि कांग्रेस के लिए दिल्ली दूर है। कांग्रेस नेताओं की भोपाल में कोई रुचि नहीं है। दिल्ली में मुलाकात कर रहे हैं। वहीं कांग्रेस के आरोप पर मंत्री नरोत्तम मिश्राने कहा कि कांग्रेस को लग रहा है कि सरकार बैठक में व्यस्त है। वो मेहनत कर रहे हैं कांग्रेस के लोग पानी में डूब कर काम कर रहे हैं।
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कांग्रेस 70 हजार कार्यकर्ताओं को देगी ट्रेनिंग...

 उत्तर प्रदेश :- विधानसभा चुनाव को लेकर अभी से सरगर्मियां तेज हो गईं हैं. राजनीतिक पार्टियां सियासी समीकरणों को साधने के साथ ही साथ संगठन को मजबूत करने में जी जान से जुटी हैं. पिछले तीन दशक से सत्ता का वनवास झेल रही कांग्रेस के लिए 2022 का चुनाव अपने सियासी वजूद को बचाए रखने का चुनाव है, जिसकी जिम्मेदारी पार्टी महासचिव प्रियंका गांधी के कंधों पर है. प्रियंका गांधी ने छत्तीसगढ़ के मॉडल पर यूपी में कांग्रेस को मजबूत करने और 2022 के चुनावी जंग जीतने की रणनीति बनाई है.


कांग्रेस उत्तर प्रदेश में बूथ स्तर पर खुद को मजूबत करने की कवायद में जुटी है. ऐसे में सूबे के 70 हजार कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण देने के लिए 675 ट्रेनिंग कैंप की रूप रेखा तैयार की है. इसी मद्देनजर यूपी के 100 नेताओं और कार्यकर्ताओं का एक समूह को छत्तीसगढ़ प्रशिक्षण के लिए भेजा गया है, जो रायपुर के निरंजन धर्मशाला में विभिन्न मुद्दों पर प्रशिक्षण ले रहे हैं.

यूपी के कांग्रेस नेताओं को रायपुर में मास्टर ट्रेनर के तौर प्रशिक्षित किया जा रहा है. इन्हें कांग्रेस के इतिहास से लेकर बूथ मैनेजमेंट के बारे में जानकारी दी जा रही है. छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने भी प्रशिक्षण दिया है. प्रियंका गांधी भी बुधवार शाम को वर्चुअल रूप से पांच दिवसीय प्रशिक्षण शिविर में शामिल हुईं. इस दौरान प्रियंका गांधी ने अब तक के प्रशिक्षण के बारे में जानकारी ली. मास्टर ट्रेनर यूपी के जिला, विधानसभा और ब्लाक स्तर पर 70 हजार कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षण देने का काम करेंगे.

कांग्रेस ने यूपी की करीब 300 विधानसभा सीटें चिन्हित की है, जहां पर 675 ट्रेनिंग कैंप किए जाएंगे. इन प्रशिक्षण शिविरों में कांग्रेस के कार्यकर्ताओं को बूथ मैनेजमेंट का पाठ सिखाया जाएगा. सोशल मीडिया के बेहतर उपयोग की तकनीक भी कार्यकर्ताओं को सिखाई जाएगी. इसके अलावा ब्लॉक से लेकर न्याय पंचायत स्तर व्हाट्सएप ग्रुप बनाने और उन्हें सक्रिय करने पर जोर दिया जाएगा.आरएसएस और बीजेपी को काउंटर करने के लिए भी कांग्रेस ने अपने कार्यकर्ताओं को प्रशिक्षित करेगी. यूपी के पिछले 32 सालों की बदहाली पर बीजेपी, सपा और बसपा को भी कांग्रेस कार्यकर्ता घेरेंगे. इसके लिए 'किसने बिगाड़ा उत्तर प्रदेश?' नाम से विशेष प्रशिक्षण शिविर भी आयोजित करेगी.

बता दें कि उत्तर प्रदेश कांग्रेस अपने संगठन को जमीनी स्तर पर मजबूत करने की कवायद में है. प्रदेश की सभी 823 ब्लाकों की कमेटियां और 8134 न्याय पंचायत के अध्यक्ष नियुक्त कर दिए. वहीं, ग्राम सभा अध्यक्षों के चयन में पार्टी जुटी हुई है. सूबे के बूथ स्तर पर खुद को मजबूत करने के लिए यूपी कांग्रेस ने अपने 8 जोन में ब्लॉक और शहर अध्यक्षों की ट्रेंनिग कैंप आयोजित किए थे. यह प्रशिक्षण शिविर गोरखपुर, इलाहाबाद, सुल्तानपुर, लखनऊ, कानपुर, बरेली, मथुरा और गाज़ियाबाद में आयोजित हुए थे. इसके बाद कार्यकर्ताओं को चुनावी लिहाज से ट्रेनिंग देनी की रूप रेखा तैयार की है, जिसके अगले सप्ताह से कांग्रेस शुरू कर रही है.

 
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छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनसुईया उइके हो सकती हैं भारत की पहली आदिवासी राष्ट्रपति

नई दिल्ली :-  राष्ट्रपति रामनाथ कोविड का चार साल पूरा हो गया हैं। उनके कार्यकाल अब एक साल से भी कम समय बचा है। अगले साल मार्च से राष्ट्रपति चुनाव की प्रक्रिया प्रारंभ हो जाएगी। जून में चुनाव होगा। और 25 जुलाई को नए राष्ट्रपति का शपथ होगा। भारत के आजाद होने के बाद अभी तक 14 राष्ट्रपति हुए हैं। इनमें से दो दलित राष्ट्रपति हुए हैं और एक मुस्लिम। 97 में केआर नारायणन पहले दलित राष्ट्रपति बने थे। उनके बाद 2017 में मोदी सरकार ने रामनाथ कोविड को राष्ट्राध्यक्ष के पद पर बिठाया। देश में एक बड़ी आबादी होने के बाद भी अभी तक किसी आदिवासी को राष्ट्रपति बनने का मौका नहीं मिला है। 

2017 में झारखंड की राज्यपाल द्रौपदी मुर्मू को पहली आदिवासी राष्ट्रपति बनाने की खबर वायरल हुई थी। याद होगा, राष्ट्रीय मीडिया के सुर्खियो में रही। लोग लगभग मान चुके थे कि प्रणब मुखर्जी के बाद भारत का पहला आदिवासी राष्ट्रपति बनने जा रहा है। लेकिन, मोदी सरकार ने अचानक बिहार के राज्यपाल रामनाथ कोविड का नाम आगे बढ़ा चौंका दिया था। इसके साथ ही आदिवासी राष्ट्रपति की दावेदारी खतम हो गई थी।
 
अब चूकि अगले साल राष्ट्रपति का चुनाव है। सो, नए राष्ट्रपति के नामों की अटकलें शुरू हो गई हैं। इनमें एक प्रमुख नाम छत्तीसगढ़ की राज्यपाल अनसुईया उइके का भी है। अनसुईया उइके की दावेदारी इसलिए अहम मानी जा रही हैं कि वे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के बेहद नजदीक हैं। राज्यपाल जब भी दिल्ली जाती हैं प्रधानमंत्री और गृह मंत्री से मुलाकात कर छत्तीसगढ़ के संदर्भ में चर्चा जरूर करती है। शायद ही किसी राज्यपाल को प्रधानमंत्री या शीर्ष नेताओं से मिलने का इतना टाईम मिल पाता है। कोरोना की स्थितियों से निबटने में राज्यपाल ने अपनी तरफ से क्या-क्या प्रयास किया, इसका बुकलेट पिछले प्रवास में राज्यपाल ने प्रधानमंत्री को सौंपा था। ये सब बातें अनसुईया के पक्ष में जाती हैं।
 
अनसुईया उइके मध्यप्रदेश से आती हैं। छत्तीसगढ़ का राज्यपाल बनने के बाद जनता से संवाद कायम करने उन्होंने कई कदम उठाई है। खासकर, राजभवन से आम आदमी की दुरियां सिमट गई हैं। वहीं, आदिवासियों के विकास के लिए वे सतत प्रयत्नशील रहती हैं। अनुसईया आदिवासी होने के साथ ही महिला भी हैं। उन्हें देश के इस शीर्ष पर बिठाने से दो वर्गां को साधा जा सकेगा। पहला आदिवासी और दूसरा, महिला।
 
अभी तक एक महिला राष्ट्रपति हुई हैं। प्रतिभा पाटिल। अनसुईया को फायदा ये मिलेगा कि इस समय आदिवासी वर्ग में इस पद पर बिठाने के लिए भाजपा के पास कोई बड़ा चेहरा नहीं है। उपर से महिला। द्रौपदी मुर्मू राज्यपाल से हट चुकी हैं। वे अब गृह राज्य उड़ीसा चली गई हैं। उनके अलावा आदिवासी समुदाय में और कोई महिला का फेस नहीं है। अनसुईया को सरकार में रहने का अनुभव भी है। मध्यप्रदेश में मंत्री रह चुकी हैं। राज्यपाल पद पर भी दो साल हो गया है। अगले साल तक तीन साल हो जाएगा। दिल्ली में जैसी चर्चा है, सब कुछ ठीक रहा तो अनसुईया उइके शीर्ष कुर्सी तक पहुंच सकती हैं।

 

 

 

 

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पीएम किसान योजना के तहत 9 अगस्त को 19 हजार करोड़ रूपए ट्रांसफर करेगी सरकार

नई दिल्ली :- प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के लाभार्थियों के लिए खुशखबरी है. पीएम मोदी को आगामी नौ अगस्त को देशभर के 9 करोड़ किसानों को पीएम किसान योजना के तहत 19,000 रुपये भेजेंगे. हर किसान के बैंक अकाउंट में दो हजार रुपये आएगा. पीएम किसान योजना के तहत सरकार किसानों के बैंक खातों में हर साल तीन किश्तों में 6000 रुपये ट्रांसफर करती है. अबतक किसानों को 8 किस्त भेजी जा चुकी है. अब 9ठीं किस्त जारी होगी. इससे पहले 8वीं किस्त का भुगतान 14 मई को किया गया था. पिछले साल पीएम किसान योजना की आखिरी किस्त क्रिसमस पर यानी 25 दिसंबर 2020 को अदा की गई थी. ममता बनर्जी की अगुवाई वाली बंगाल सरकार ने पहले इस योजना को लागू करने का विरोध किया था, लेकिन पिछली बार इस योजना में शामिल हो गईं.

 क्या है पीएम किसान योजना

पीएम-किसान के तहत, सरकार किसानों को 6000 की वार्षिक आय सहायता प्रदान करती है. पैसे का भुगतान हर चार महीने में एक बार 2,000 के तीन बराबर नकद हस्तांतरण में किया जाता है. यह योजना 24 फरवरी 2019 को शुरू की गई थी.पीएम किसान सम्मान निधि योजना का फायदा उठाने के लिए किसान के पास आधार कार्ड होना अनिवार्य है. आधार कार्ड के बिना इस योजना का फायदा नहीं उठा सकते हैं. साथ ही 2000 रुपये की किश्त पाने के लिए बैंक में अकाउंट होना भी जरूरी है. डीबीटी के जरिए खाते में पैसे भेजा जाता है. बैंक अकाउंट का आधार से लिंक होना भी जरूरी है. अगर कोई डॉक्युमेंट जमा करने से रह गया है तो ऑनलाइन अपलोड कर सकते हैं. अगर अभी तक पीएम किसान सम्मान निधि योजना के लिए आवेदन नहीं किया है तो सरकार की वेबसाइट के जरिए खुद ही ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं.

 

 

 

 

 

 

 

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कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर साधा निशाना

कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने एक बार फिर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधा है. इस पर बार उन्होंने प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना को लेकर हमला बोला है. उन्होंने आरोप लगाया है कि पीएम मोदी ने विकास के नाम पर धोखा दिया है.उन्होंने ट्वीट करते हुए कहा, "प्रधानमंत्री कौशल विकास योजना यानि. जुमले देने में PM का कौशल, विकास के नाम पर धोखा. सरकार की 'रोज़गार मिटाओ' परियोजना.इससे पहले केंद्र सरकार के खिलाफ मंगलवार को कांग्रेस के साथ विपक्षी दलों ने एकजुटता का प्रदर्शन किया. कांग्रेस ने इसे 2024 लोकसभा चुनाव से पहले एक 'ट्रेलर' बताया. कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी के न्योते पर पार्टी के 100 सांसद और 15 विपक्षी दलों के नेता दिल्ली के कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में नाश्ते पर मिले. विपक्षी नेताओं ने पेगासस जासूसी मामले पर सरकार को घेरने और दबाव बनाने की साझा रणनीति पर चर्चा की.


कांग्रेस नेता राहुल गांधी और कई अन्य विपक्षी नेता पेट्रोल, डीजल, रसोई गैस और खाद्य वस्तुओं की कीमतों में बढ़ोतरी के विरोध में मंगलवार को साइकिल से संसद पहुंचे. इसके अलावा कई और नेता कॉन्स्टीट्यूशन क्लब से संसद तक पैदल पहुंचे. बैठक में राहुल गांधी के अलावा राज्यसभा में नेता प्रतिपक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे, लोकसभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी, तृणमूल कांग्रेस (TMC) के नेता कल्याण बनर्जी, समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता रामगोपाल यादव, शिवसेना सांसद संजय राउत, आरजेडी के मनोज झा, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) के प्रफुल्ल पटेल समेत 15 दलों के नेता शामिल हुए

बैठक को संबोधित करते हुए राहुल गांधी ने कहा कि विपक्ष देश की 60 फीसदी आबादी का प्रतिनिधित्व करती है, लेकिन सरकार इस तरह व्यवहार कर रही है जैसे वे किसी का प्रतिनिधित्व ही नहीं करते हैं. उन्होंने कहा, "जब सरकार हमें संसद में चुप करा देती है, तो वो सिर्फ हम सांसदों को अपमानित नहीं कर रही है बल्कि वो भारत के लोगों की आवाज और बहुसंख्यक आवाज का भी अपमान कर रही है."

विपक्षी नेताओं को उन्होंने कहा, "आपको आमंत्रित करने का एकमात्र उद्देश्य यह है कि हम इस ताकत को एकजुट करें. जब सभी आवाजें एकजुट और मजबूत हो जाएगी तो बीजेपी और आरएसएस के लिए इस आवाज को दबाना बहुत मुश्किल हो जाएगा. हम इस एकजुटता के आधार को याद करना चाहिए और यह महत्वपूर्ण है कि अब हम इस एकता के आधार के सिद्धांत के साथ आना शुरू कर रहे हैं."
 
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केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया ने दिया आश्वासन, अरुणाचल प्रदेश में जल्द बनेगा मेडिकल कॉलेज

केन्द्र ने अरुणाचल प्रदेश के नामसाई जिले में एक और मेडिकल कॉलेज स्थापित करने का आश्वासन दिया है. अधिकारियों ने मंगलवार को बताया कि केन्द्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मांडविया से राज्य के स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण मंत्री आलो लिबांग के नेतृत्व में एक दल ने सोमवार को नई दिल्ली में मुलाकात की और तभी मंत्री ने उन्हें यह आश्वासन दिया.

वर्तमान में, पूर्वोत्तर राज्य में केवल ईटानगर के पास नाहरलगुन में 'टोमो रीबा इंस्टीट्यूट ऑफ हेल्थ एंड मेडिकल साइंसेज' एक ही मेडिकल कॉलेज है. उन्होंने बताया कि मंत्रियों ने राज्य में चिकित्सा बुनियादी ढांचे, चिकित्सा उपकरण, दवाओं और चिकित्सा सेवाओं को मजबूत करने पर भी चर्चा की. लोकसभा सदस्य तपीर गाओ और नामसाई के विधायक चाऊ झिंगनु नामचूम के साथ दिल्ली पहुंचे लिबांग ने राज्य में कोविड-19 की स्थिति और उससे लड़ने की रणनीति पर भी चर्चा की.

हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी  ने 30 जुलाई को उत्तर प्रदेश  के नौ नये मेडिकल कॉलेजों -का लोकार्पण किया. एक बयान के अनुसार उत्‍तर प्रदेश के मुख्‍यमंत्री योगी आदित्‍यनाथ ने अपने सरकारी आवास पर एक उच्चस्तरीय बैठक की थी. इस बैठक में प्रदेश के नौ जिलों देवरिया, एटा, फतेहपुर, हरदोई, प्रतापगढ़, सिद्धार्थ नगर, गाजीपुर, मीरजापुर और जौनपुर में नवस्थापित मेडिकल कॉलेजों का लोकार्पण किया जाना प्रस्तावित है. उन्होंने इस नीति को पूरी सक्रियता से लागू रखने के निर्देश देते हुए कहा कि कोरोना टीकाकरण कार्य में और तेजी लाई जाए. योगी ने निर्देश दिया कि मुख्यमंत्री हेल्पलाइन-1076 के माध्यम से वरिष्ठ नागरिकों से संवाद की व्यवस्था की जाए.

 

 

 

 

 

 

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राकेश अस्थाना की नियुक्ति के खिलाफ दायर यााचिका पर तत्काल फैसले की मांग, जल्द सुनवाई करेगा सुप्रीम कोर्ट

राकेश अस्थाना  को दिल्ली पुलिस प्रमुख नियुक्त करने को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह के खिलाफ सुप्रीम कोर्ट में अवमानना कार्रवाई याचिका दायर करने वाले एक वकील ने अपनी याचिका पर तत्काल सुनवाई किए जाने का अनुरोध किया है.कोर्ट ने मंगलवार को वकील एमएल शर्मा से कहा कि अगर रजिस्ट्री ने क्रमांकित किया है, तो उनकी याचिका को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया जाएगा. शर्मा ने कहा, 'मैंने राकेश अस्थाना की नियुक्ति के खिलाफ अवमानना याचिका दायर की है.' प्रधान न्यायाधीश एनवी रमण की अध्यक्षता वाली पीठ ने वकील से कहा, 'अगर यह क्रमांकित है, तो हम इसकी सुनवाई के लिए तारीख तय करेंगे.'


याचिका के अनुसार, मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति के प्रमुख प्रधानमंत्री मोदी और गृह मंत्री ने संयुक्त रूप से फैसला किया और अस्थाना को दिल्ली पुलिस आयुक्त नियुक्त किया. याचिका में आरोप लगाया गया है कि यह प्रकाश सिंह मामले में शीर्ष अदालत के फैसले के खिलाफ है. शर्मा ने अपनी याचिका में कहा कि शीर्ष अदालत के फैसले के अनुसार, 'डीजीपी के रूप में नियुक्ति से पहले व्यक्ति की कम से कम तीन महीने की सेवा शेष होनी चाहिए.'

1984 बैच के आईपीएस अधिकारी अस्थाना को 27 जुलाई को दिल्ली पुलिस आयुक्त के रूप में नियुक्त किया गया था. उनकी नियुक्ति 31 जुलाई को उनकी सेवानिवृत्ति से कुछ दिन पहले हुई थी. राकेश अस्थाना वही अधिकारी हैं जिनकी निगरानी में सुशांत सिंह-रिया चक्रवर्ती ड्रग्स कनेक्शन मामले में दो FIR दर्ज की गई थीं. इसके पहले राकेश अस्थाना सीबीआई में स्पेशल डायरेक्टर भी रह चुके हैं और सूरत कमिश्नर रहते हुए उन्होंने आसाराम संत मामले में एक महत्वपूर्ण जांच अपनी निगरानी में शुरू करी थी, जिसमें आसाराम और उसके बेटे की गिरफ्तारी भी की गई थी. 

राकेश अस्थाना ने बीएसएफ में रहते हुए कई बड़े ऑपरेशन्स को लीड किया है. इसके अलावा दिल्ली मुंबई और देश के कई राज्यों में नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो की कमान संभालते हुए कई बड़े ऑपरेशन किए हैं. बता दें कि हाल में ही सीबीआई डायरेक्टर के नाम पर भी राकेश अस्थाना की चर्चा थी. खास बात ये है कि एसएस जोग और अजयराज शर्मा के बाद राकेश अस्थाना तीसरे पुलिस कमिश्नर हैं जो यूटी कैडर के बाहर के अधिकारी हैं.

 

 

 

 

 

 

 

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NPC नेता शरद पवार आज गृह मंत्री अमित शाह से करेगें मुलाकात

नई दिल्ली:- महाराष्ट्र के राजनीति से जुड़ी बड़ी ख़बर सामने आयी है. एनसीपी प्रमुख शरद पवार और गृह मंत्री अमित शाह की आज मुलाक़ात होगी. यह मुलाकात दोपहर 2 बजे होगी. इससे पहले 17 जुलाई को पीएम नरेंद्र मोदी से एनसीपी प्रमुख शरद पवार की मुलाक़ात की थी. हालांकि उस वक्त पवार ने इसे शिष्टाचार मुलाकात बताया था. उस मुलाक़ात के ठीक 17 दिन बाद अब एनसीपी प्रमुख शरद पवार गृह मंत्री अमित शाह से मुलाक़ात कर रहे हैं सोमवार दोपहर में एनसीपी की सांसद सुप्रिया सुले और सुनील तटकरे ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमन से गुप्त मुलाक़ात की थी. आज सुबह ही विपक्ष की 14 दलों के साथ कांग्रेस महासचिव राहुल गांधी ने मुलाक़ात की थी. सुप्रिया सुले उस बैठक में राहुल गांधी के बगल में खड़ी दिखाई दीं. लेकिन इस मुलाक़ात के दो घंटे के भीतर ही अब ख़बर आ रही है बाद गृह मंत्री अमित शाह से शरद पवार से मिल रहे हैं. महाराष्ट्र की राजनीति में मुलाक़ात को अहम माना जा रहा है.

 

 

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कैबिनेट सरकार ने मंजूर किया MLAs की सैलरी बढ़ाने का प्रस्ताव

दिल्ली :- सरकार ने विधायकों की तनख्वाह में बंपर बढ़ोतरी का फैसला लिया है. नए फैसले के मुताबिक, अब दिल्ली के एक विधायक को प्रति माह 90 हज़ार रुपये मिलेंगे, जिसमें सैलरी और भत्ता सभी शामिल होंगे. दिल्ली कैबिनेट ने मंगलवार को इस प्रस्ताव को मंजूरी दी है.कैबिनेट के मुताबिक, अब विधायक की प्रति माह सैलरी 30 हज़ार रुपये होगी, पहले ये 12 हज़ार रुपये तक थी. वहीं, वेतन-भत्ता मिलाकर ये सैलरी 90 हज़ार रुपये हो जाएगी, जो अभी तक सिर्फ 54 हज़ार रुपये थी सूत्रों के मुताबिक, साल 2015 में दिल्ली सरकार ने विधायकों के वेतन बढ़ाने का कानून दिल्ली विधानसभा से पास करके केंद्र सरकार को भेजा था, जिसको केंद्र सरकार ने अस्वीकार कर दिया है. तब केंद्र सरकार ने विधायकों के वेतन और भत्ता के मामले में कुछ सुझाव भी दिए थे., अब इन्हीं के आधार पर दिल्ली कैबिनेट ने इसपर मुहर लगा दी है.दिल्ली में विधायकों की सैलरी में पिछले करीब 10 साल यानी 2011 से बढ़ोतरी नहीं हुई थी. दिल्ली कैबिनेट द्वारा पास किया गया नया प्रस्ताव अब केंद्र सरकार की मंजूरी के लिए भेजा जाएगा. केंद्र की मंजूरी के बाद दिल्ली सरकार दोबारा दिल्ली विधानसभा में बिल लेकर आएगी

नए सैलरी स्ट्रक्चर के मुताबिक
 
1. बेसिक वेतन- 30,000
2. चुनाव क्षेत्र भत्ता- 25,000
3. सचिवालय भत्ता- 15,000
4. वाहन भत्ता- 10,000
5. टेलीफोन- 10,000
कुल सैलरी- ₹90,000
 
 
 इस फैसले पर दिल्ली सरकार के सूत्रों का कहना है कि दिल्ली अभी भी उन राज्यों में से एक है, जो अपने विधायकों को सबसे कम वेतन और भत्ता देता है. कई भाजपा, कांग्रेस और क्षेत्रीय पार्टियों द्वारा शासित राज्य अपने विधायकों को बहुत अधिक वेतन प्रदान करते हैं, जबकि दिल्ली में रहने का खर्च भारत के अधिकांश हिस्सों की तुलना में बहुत अधिक है.इसके अलावा, कई राज्य अपने विधायकों को कई अन्य सुविधाएं और भत्ते प्रदान करते हैं, जो दिल्ली सरकार नहीं प्रदान करती है. जैसे- हाउस किराया भत्ता, कार्यालय किराया और कर्मचारियों के खर्च, कार्यालय उपकरणों को खरीदने के लिए भत्ता, उपयोग के लिए वाहन, चालक भत्ता आदि प्रदान नहीं करती है. 
 
अलग-अलग राज्यों में विधायकों का वेतन भत्ता 
1. उत्तराखंड - 1.98 लाख
2. हिमाचल प्रदेश - 1.90 लाख
3. हरियाणा- 1.55 लाख
4. बिहार - 1.30 लाख
5. राजस्थान- 1,42,500
6. तेलंगाना- 2,50,000
7. आंध्र प्रदेश- 1,25,000
8. गुजरात- 1,05,000
9. उत्तर प्रदेश- 95,000
10. दिल्ली- 90,000

 

 

 

 

 

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प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने हॉकी टीम के कप्तान मनप्रीत सिंह से कही ये बात ...

नई दिल्ली: - ओलंपिक के सेमीफाइनल मुकाबले में भारतीय हॉकी टीम 5-2 से हारकर बाहर हो गई है. इस हार पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा है कि हार जीत खेल का हिस्सा हैं. उन्होंने यह भी कहा कि देश को अपने खिलाड़ियों पर गर्व है. बता दें कि भारतीय टीम पर कांस्य पदक के लिए दूसरे सेमीफाइनल में हारने वाली टीम से भिड़ेगी | 
 
प्रधानमंत्री मोदी ने लिखा, ''हार-जीत तो जीवन का हिस्सा है. टोक्यो 2020 में हमारी पुरुष हॉकी टीम ने अपना सर्वश्रेष्ठ दिया और यही मायने रखता है. टीम को अगले मैच और उनके भविष्य के प्रयासों के लिए शुभकामनाएं. भारत को अपने खिलाड़ियों पर गर्व है.''
 
इससे पहले मैच के दौरान प्रधानमंत्री मोदी ने ट्वीट कर बताया था कि वे भी मैच देख रहे हैं. इसके साथ ही उन्होंने टीम को शुभकामनाएं भी दी थीं. प्रधानमंत्री ने ट्वीट कर लिखा, 'मैं भारत और बेल्जियम का हॉकी पुरुष सेमीफाइनल देख रहा हूं. हमें हमारी टीम और उनके कौशल पर गर्व है. उन्हें बहुत-बहुत शुभकामनाएं!''
 
ओई हॉकी स्टेडियम नॉर्थ पिच पर खेले गए इस मैच में एक समय भारत 2-1 से आगे था लेकिन इसके बाद वह बुरी तरह पिछड़ता चला गया और अंतत: 1980 के बाद पहला फाइनल खेलने से चूक गया. मैच का पहला गोल बेल्जियम की ओर से हुआ. तीसरे क्वार्टर और चौथे क्वार्टर की शुरुआत तक बेल्जियम ने 7 पेनाल्टी कार्नर हासिल किए.
 
इसके बाद 53वें मिनट में पेनाल्टी स्ट्रोक हासिल किया, जिस पर गोल कर हेंडरिक्स ने अपनी टीम को 4-2 से आगे कर उसकी जीत पक्की कर दी. बेल्जियम की टीम इसके बाद भी नहीं रुकी और अंतिम मिनट में एक और गोल करते हुए 5-2 की लीड ले ली. बेल्जियम के लिए यह गोल डोमिनिक डॉहमैन ने 60वें मिनट में किया.|
 

 

 

 

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पीएम मोदी ने किया ई-वाउचर-बेस्ड डिजिटल पेमेंट सॉल्यूशन लॉन्च

नई दिल्ली :-  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए ई-वाउचर-बेस्ड डिजिटल पेमेंट सॉल्यूशन ई-रुपी लॉन्च किया। इसका उद्देश्य डिजिटल पेमेंट को बढ़ावा देना है। इसके जरिए कैशलेस और कॉन्टैक्टलेस पेमेंट होगा। सरकार के अनुसार इसके जरिए योजनाओं का लाभ आखिरी व्यक्ति तक पहुंचाने में मदद मिलेगी। ई-रुपी एक प्रीपेड ई-वाउचर है, जिसे नेशनल पेमेंट्स कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया यानी NPCI ने विकसित किया है।

 
इस अवसर पर PM मोदी ने कहा कि देश डिजिटल गवर्नेंस को नया आयाम दे रहा है। सरकार के इस कदम से ट्रांसपेरेंट और लीक प्रूफ डिलीवरी में मदद मिलेगी। किसी के इलाज या पढ़ाई में मदद करना है तो वो कैश की जगह ई-रुपी से कर सकता है। इससे यह पता चल सकेगा कि पैसा सही जगह लगा है। किताबों के लिए पैसा भेजा है तो उससे किताबें खरीदी गई हैं या नहीं, ये ई-रुपी से पता चल जाएगा। समय के साथ इसमें और भी चीजें जोड़ी जाएंगी। ई-रुपी एक तरह से पर्सन के साथ-साथ पर्पज पैसिफिक भी है। 

PM ने कहा कि पहले हमारे देश में कुछ लोग कहते थे कि टेक्नोलॉजी तो केवल अमीरों की चीज है, भारत तो गरीब देश है, इसलिए भारत के लिए टेक्नोलॉजी का क्या काम? जब हमारी सरकार टेक्नोलॉजी को मिशन बनाने की बात करती थी तो बहुत से राजनेता, कुछ खास किस्म के एक्सपर्ट्स उस पर सवाल खड़ा करते थे, लेकिन आज देश ने उन लोगों की सोच को नकारा भी है, और गलत भी साबित किया है। आज देश की सोच अलग और नई है। आज हम टेक्नोलॉजी को गरीबों की मदद और उनकी प्रगति के एक टूल के रूप में देख रहे हैं। हमारी सरकार ने पीएम स्वनिधि योजना की शुरुआत की। आज देश के छोटे-बड़े शहरों में 23 लाख से अधिक रेहड़ी-पटरी और ठेले वालों को इस योजना के तहत मदद दी गई है। इसी कोरोना काल में करीब-करीब 2300 करोड़ रुपए उन्हें दिए गए हैं

इससे होंगे ये 9 फायदे 
  • ये एक कैशलेस और कॉन्टैक्टलेस तरीका है। 
  • ये सेवा देने और लेने वालों को सीधे तौर पर जोड़ता है। 
  • इससे सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे लाभार्थियों को मिलेगा। इससे भ्रष्टाचार में कमी आएगी। 
  • यह एक QR कोड या SMS स्ट्रिंग-बेस्ड ई-वाउचर है, जिसे सीधे लाभार्थियों के मोबाइल पर भेजा जाता है। 
  • इस वन टाइम पेमेंट सर्विस में यूजर्स बिना कार्ड, डिजिटल पेमेंट ऐप या इंटरनेट बैंकिंग के बावजूद वाउचर को रिडीम कर सकेंगे। 
  • e-RUPI के जरिए सरकारी योजनाओं से जुड़े विभाग या संस्थान बिना फिजिकल कॉन्टैक्ट के सीधे तौर पर लाभार्थियों और सर्विस प्रोवाइडर से जुड़े रहेंगे। 
  • समें यह भी सुनिश्चित किया जाएगा कि लेन-देन पूरा होने के बाद ही सर्विस प्रोवाइडर को भुगतान किया जाए। 
  • पेड होने की वजह से यह किसी भी मध्यस्थ को शामिल किए बिना सर्विस प्रोवाइडर को समय पर भुगतान करता है।
  • इन डिजिटल वाउचर का उपयोग प्राइवेट सेक्टर में अपने इम्प्लॉई वेलफेयर और कॉर्पोरेट सामाजिक जिम्मेदारी कार्यक्रमों के लिए भी किया जा सकता है।

 

 

 

 

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भारत में जल्द कोरोना ट्रीटमेंट के लिए काम आने वाला नेजल स्प्रे

भारत में जल्द कोरोना ट्रीटमेंट के लिए काम आने वाला नेजल स्प्रे मिलने लगेगा। भारतीय कंपनी ग्लेनमार्क फार्मास्युटिकल्स ने स्प्रे बनाने वाली कनाडा की कंपनी सैनोटाइज रिसर्च एंड डेवलपमेंट कॉर्पोरेशन के साथ सोमवार को करार किया है। कंपनी अब भारत के अलावा सिंगापुर, मलेशिया, हांगकांग, ताइवान, नेपाल, ब्रुनेई, कंबोडिया, लाओस, म्यांमार, वियतनाम, श्रीलंका सहित एशिया के कई देशों में स्प्रे सप्लाई करने का काम करेगी।कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर ग्लेन सल्दानहा ने कहा कि इससे एशिया के देशों पर पड़ रहा संक्रमण का दबाव कम होगा। उन्होंने कहा कि हमारी कंपनी इस बात ख्याल रखेगी कि जल्द से जल्द पूरे एशिया में स्प्रे की सप्लाई की जा सके। 

कनाडा के वैंकूवर की बायोटेक कंपनी सैनोटाइज ने इस नाइट्रिक ऑक्साइड नेजल स्प्रे (NONS) को तैयार किया है। यह स्प्रे मरीजों को खुद ही अपनी नाक में करना होता है और यह नाक में ही वायरल लोड को कम कर देता है। इससे न तो वायरस पनप पाता है और न ही फेफड़ों में जाकर नुकसान पहुंचा पाता है। कनाडा और UK में इसके ट्रायल्स हुए हैं। 79 इन्फेक्टेड लोगों पर हुए फेज-2 क्लिनिकल ट्रायल्स में इस नेजल स्प्रे ने 24 घंटों के भीतर वायरल लोड को 95% तक कम कर दिया और 72 घंटों में 99% तक। अच्छी बात यह है कि कोरोना के UK वैरिएंट के खिलाफ भी यह कारगर साबित हुआ है। कनाडा में फेज-2 क्लिनिकल ट्रायल्स के दौरान 103 लोगों की नाक में स्प्रे किया गया। कोई भी कोविड-19 पॉजिटिव नहीं निकला। UK फेज-2 NHS क्लिनिकल ट्रायल्स में 70 लोग शामिल थे। सभी कोविड-19 इन्फेक्टेड थे। जिनकी नाक में स्प्रे किया गया, उनके मुकाबले स्टडी में शामिल अन्य लोगों में 16 गुना ज्यादा वायरल लोड मिला है। इससे पहले कनाडा में हुए ट्रायल्स में 7,000 मरीजों पर टेस्ट हुआ था। किसी भी मरीज को गंभीर साइड इफेक्ट्स का सामना नहीं करना पड़ा।  

इजराइल और न्यूजीलैंड इस स्प्रे को इलाज के लिए मंजूरी दे चुके हैं। कंपनी ने पिछले महीने इजराइल में स्प्रे का प्रोडक्शन शुरू कर दिया है। सैनोटाइज की CEO और सह-संस्थापक डॉ. गिली रेगेव ने कहा था कि वे भारत में पार्टनर तलाश रहे हैं और उम्मीद है कि इस स्प्रे को भारत में मेडिकल डिवाइस के तौर पर मंजूरी मिल जाएगी।सैनोटाइज 4-5 हजार लोगों के साथ फेज-3 ट्रायल्स करना चाहती है। रेगेव के मुताबिक फेज-3 ट्रायल्स का कुछ हिस्सा भारत में भी हो सकता है। उन्हें इसके लिए फंडिंग की तलाश है। जैसे ही फंडिंग मिल जाएगी, कंपनी आगे बढ़कर भारत में भी ट्रायल कर सकेगी।

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सुप्रीम कोर्ट ने पैरालंपियन निशानेबाज नरेश कुमार शर्मा को टोक्यो पैरालंपिक के लिए भारतीय दल में तत्काल शामिल करने का दिया आदेश

सुप्रीम कोर्ट ने पैरालंपियन निशानेबाज नरेश कुमार शर्मा को टोक्यो पैरालंपिक के लिए भारतीय दल में तत्काल शामिल करने का आदेश दिया है. कोर्ट ने कहा कि नरेश कुमार शर्मा का नाम एडिशनल खिलाड़ी के तौर पर भेजा जाए. शर्मा ने पैरालंपिक कमेटी ऑफ इंडिया  के फैसले को चुनौती दी थी. उन्होंने कहा था कि PCI की चयन प्रक्रिया निष्पक्ष और पारदर्शी नहीं थी और समिति याचिकाकर्ता के प्रति पक्षपाती रवैया रखती है.सुप्रीम कोर्ट ने नरेश कुमार का नाम पैरालंपिक्स में भेजने की कम्प्लांयंस रिपोर्ट मंगलवार तक दाखिल करने को कहा है. सुनवाई के दौरान केंद्र सरकार ने कहा कि पैरालंपिक के लिए नाम भेजने में केंद्र सरकार की कोई भूमिका नहीं है, नाम पैरा ओलंपिक कमेटी भेजती है. सुनवाई में पैरालंपिक कमेटी की तरफ से कोई पेश नहीं हुआ   

इससे पहले सोमवार को नरेश शर्मा ने सुप्रीम कोर्ट से मामले की जल्द सुनवाई का अनुरोध किया था. निशानेबाज की तरफ से वरिष्ठ अधिवक्ता विकास सिंह ने बेंच से कहा कि दिल्ली हाई कोर्ट के समक्ष सुनवाई में देरी से खेलों के लिए भारतीय दल में शामिल किए जाने से जुड़ी उनकी याचिका का कोई मतलब नहीं रहेगा, क्योंकि टोक्यो पैरालंपिक्स में शूटिंग प्रतिस्पर्धा में हिस्सा लेने के लिए चयन की आखिरी तारीख 2 अगस्त है. 

पैरालिंपियन निशानेबाज ने दिल्ली हाई कोर्ट के उस आदेश को चुनौती दी थी, जिसमें टोक्यो खेलों के लिए उनका चयन नहीं करने के खिलाफ याचिका पर उसने सुनवाई के लिए छह अगस्त की तारीख तय की थी. शर्मा ने दिल्ली हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर कहा था कि PCI को 'R7 स्पर्धा' के लिए चयनित निशानेबाजों की सूची में उनके नाम को शामिल करने का निर्देश जारी करे. इस पर हाई कोर्ट ने नोटिस जारी कर 6 अगस्त को सुनवाई के लिए लगाया था

दिल्ली कोर्ट में दाखिल अपील में कहा गया था कि टोक्यो पैरालंपिक 24 अगस्त से शुरू होने वाले हैं और इसलिए, पीसीआई को अभी भी एक निर्देश दिया जा सकता है कि शर्मा का नाम आर7 निशानेबाजी खेल में भाग लेने के लिए भेजा जाए. नरेश कुमार शर्मा पांच बार पैरालम्पिक खेलों में भाग ले चुके हैं.अर्जुन पुरस्कार विजेता शर्मा ने आरोप लगाया था कि उन्होंने सभी पात्रता मानदंड और न्यूनतम क्वालीफाइंग स्कोर हासिल किए लेकिन इसके बाद भी चयन पैनल, भारतीय पैरालंपिक समिति ने जानबूझकर और मनमाने ढंग से पैरालंपिक के लिए उनके नाम की अनदेखी की
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राहुल गांधी ने विपक्ष के नेताओं को कल सुबह नाश्ते पर बुलाया...

नई दिल्ली :-  संसद के मौजूदा मॉनसून सत्र में भारी हंगामा हो रहा है. खासकर, पेगासस जासूसी विवाद और किसानों के मुद्दे पर विपक्ष सरकार को पूरी ताकत के साथ घेर रहा है. संसद में हंगामा हो रहा है, जिसके चलते कार्यवाही ठीक से नहीं चल पा रही है. अब खबर ये आ रही है कि विपक्ष संसद के बाहर समानांतर संसद सत्र चलाने के मूड में है.

  
विपक्ष से जुड़े सूत्रों से इस तरह के प्रस्ताव की जानकारी मिली है. सबसे अहम बात ये है कि इस प्रस्ताव पर चर्चा कांग्रेस सांसद राहुल गांधी से साथ मीटिंग में की जाएगी राहुल गांधी ने विपक्ष के नेताओं को कल सुबह 9.30 बजे दिल्ली स्थित कॉन्स्टिट्यूशन क्लब में 9:30 बजे मंगलवार को नाश्ते पर बुलाया है. यहां दोनों सदनों के विपक्षी दलों के फ्लोर लीडर्स को बुलाया गया है. बताया जा रहा है कि संसद में आगे की रणनीति और विपक्ष को एकजुट करने के लिए और राहुल गांधी ने ये पहल की है. 

राहुल गांधी ने सभी विपक्षी दलों के नेताओं को बुलाया है. तृणमूल कांग्रेस को भी न्योता भेजा गया है. हालांकि, टीएमसी सूत्रों का कहना है कि उन्हें अभी तक औपचारिक तौर पर न्योता नहीं मिला है.बहरहाल, राहुल गांधी ने एक बार फिर विपक्ष को एकजुट करने की कोशिश की है. विपक्षी दलों की बैठक में राहुल गांधी दो बार हिस्सा ले चुके हैं. विजय चौक पर विपक्षी नेताओं के साथ वो प्रेस वार्ता कर चुके हैं और अब कॉन्स्टिट्यूशन क्लब में विपक्षी नेताओं के साथ नाश्ते पर चर्चा करेंगे. 

गौरतलब है कि मौजूदा संसद सत्र 19 जुलाई से चल रहा है. इस सत्र में लगातार हंगामा हो रहा है. विपक्ष कृषि से जुड़े तीनों कानून वापस लेने की मांग कर रहा है और पेगासस जासूसी कांड पर सरकार से चर्चा की मांग भी उठा रहा है. दोनों ही मसलों पर हर दिन सदन में हंगामा हो रहा है और लगातार कार्यवाही स्थगित की जा रही है विपक्ष आरोप लगा रहा है कि सरकार अपने मनमुताबिक बिल पास करना चाहती है और महंगाई, पेगासस या कृषि कानून जैसे मुद्दों से भाग रही है. इस गहमागहमी के बीच ही ये खबर सामने आई है कि विपक्ष अब संसद के बाहर समानांतर सत्र चलाने पर विचार कर रहा है.

 

 

 

 

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लालू यादव ने मुलायम सिंह और अखिलेश यादव से की मुलाकात

 उत्तर प्रदेश :- अगले साल होने वाले विधानसभा चुनावों से पहले राजनीतिक गतिविधियां बढ़ने लगी हैं. इन्हीं गतिविधियों से इतर सोमवार को नई दिल्ली में समाजवादी पार्टी के संरक्षक मुलायम सिंह यादव  ने राष्ट्रीय जनता दल के प्रमुख लालू प्रसाद यादव  से मुलाकात की उत्तर प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने सोमवार को ट्विटर पर दोनों दिग्गजों की मुलाकात की तस्वीरें साझा की. बता दें कि मुलायम सिंह यादव ने सोमवार को संसद के सत्र में भी भाग लिया है. अखिलेश ने जो फोटो साझा की, उसमें दोनों ही नेता चाय पीते नज़र आ रहे हैं.

 

 

इस मुलाकात के बाद लालू यादव ने भी ट्वीट किया. उन्होंने लिखा कि देश के वरिष्ठतम समाजवादी साथी आदरणीय श्री मुलायम सिंह जी से मुलाकात कर उनका कुशलक्षेम जाना. खेत-खलिहान, ग़ैर-बराबरी, अशिक्षा, किसानों, गरीबों व बेरोजगारों के लिए हमारी सांझी चिंताएं और लड़ाई है. आज देश को पूंजीवाद और सम्प्रदायवाद नहीं बल्कि लोकसमता एवं समाजवाद की अत्यंत आवश्यकता है.

 

 

ज़मानत पर बाहर आए लालू प्रसाद यादव अभी नई दिल्ली में ही अपनी बेटी और सांसद मीसा भारती के आवास पर रुके हुए हैं. हाल ही के दिनों में उन्होंने मुलाकातों का दौर शुरू किया है. बीते दिनों राष्ट्रवादी कांग्रेस के प्रमुख शरद पवार ने भी लालू यादव से मुलाकात की थी.मुलायम सिंह यादव से पहले समाजवादी पार्टी के ही नेता रामगोपाल यादव ने भी लालू प्रसाद यादव से मुलाकात की थी रामगोपाल यादव भी शरद पवार के साथ ही लालू यादव से मिले थे.खास बात है कि ये मुलाकातें अगले साल होने वाले उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनाव से पहले हो रही हैं. यूपी चुनाव के लिए समाजवादी पार्टी और एनसीपी का गठबंधन हुआ है, इसके अलावा अन्य विपक्षी दल भी समाजवादी पार्टी के साथ आ सकते हैं समाजवादी पार्टी अगले साल होने वाले यूपी चुनाव की तैयारियों में जुटी है. सपा ने तय किया है कि इस बार वो किसी बड़े राजनीतिक दल से गठबंधन नहीं करेगी. हालांकि, सपा छोटे दलों के साथ गठबंधन ज़रूर कर रही है

 

 

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मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने लगवाई कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज

उत्तर प्रदेश :-  मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने सोमवार को कोरोना वैक्सीन की दूसरी डोज लगवाई.उन्होंने खुद ट्वीट कर इस बात की जानकारी दी. सीएम योगी ने भारत बायोटेक की कोवैक्सीन लगवाई है.ट्वीट कर उन्होंने लोगों से भी वैक्सीन लगवाने की अपील की है.सीएम योगी ने ट्विटर पर दूसरी डोज लेने की जानकारी देते हुए लिखा कि स्वदेशी कोविड वैक्सीन की दूसरी डोज लेकर मन प्रफुल्लित है. उन्होंने लोगों से भी वैक्सीन लगवाने की अपील करते हुए लिखा कि 'टीका जीत का' जरूर लगवाएं. क्योंकि तभी कोरोना हारेगा और भारत जीतेगा

 
 
योगी आदित्यनाथ ने 5 अप्रैल को वैक्सीन की पहली डोज लगवाई थी. लेकिन वैक्सीन लेने के 10 दिन बाद ही 14 अप्रैल को वो कोरोना संक्रमित हो गए थे और 30 अप्रैल को उनकी रिपोर्ट निगेटिव आई थी.क्योंकि आईसीएमआर की गाइडलाइन है कि कोरोना से ठीक होने के 90 दिन बाद ही वैक्सीन लगवा सकते हैं, इसलिए सीएम योगी आदित्यनाथ ने 2 अगस्त को वैक्सीन की दूसरी डोज ली.
 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

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पीएम मोदी से असम-मिजोरम सीमा मुद्दे पर आज असम के सभी सांसद करेंगे मुलाकात

नई-दिल्ली:-  प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से असम-मिजोरम सीमा मुद्दे पर आज असम के सभी सांसद मुलाकात करेंगे। लोकसभा में विपक्षी सांसदों की नारेबाजी खत्म नहीं हो रही है. ये सांसद लगातार पेगासस विवाद पर आवाज उठा रहे हैं. विपक्ष के इसी हंगामे को देखते हुए सदन की कार्यवाही एक बार फिर स्थगित कर दी गई है. दोपहर 2 बजे तक लोकसभा की कार्यवाही स्थगित की गई है

 

 

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